
सावन में भगवान शिव के अलावा माँ गौरी की भी विशेष कृपा मिल सकती है. इसके लिए सावन के मंगलवार को माँ गौरी की उपासना की जाती है. चूँकि इस पूजा से जीवन में हर प्रकार का मंगल होता है, इसलिए इसे मंगला गौरी कहा जाता है. सावन के मंगलवार को माँ गौरी की उपासना से विवाह और वैवाहिक जीवन की हर समस्या दूर की जा सकती है. विशेषकर अगर मंगल दोष समस्या दे रहा हो तो इस दिन की पूजा अत्यधिक लाभदायी होती है.
शीघ्र विवाह के लिए किस प्रकार करें मंगला गौरी की पूजा?
१- सावन के मंगलवार को प्रातः काल या संध्या काल माँ गौरी की पूजा करें
२- उनके समक्ष घी का एक बड़ा सा चौमुखी दीपक जलाएँ
३- माँ को सोलह फूल या सोलह तरह के फूल चढाएँ , उसमे लाल रंग का फूल जरूर चढाएँ
४- माँ को लाल रंग की चुनरी और लौंग समर्पित करें
५- इसके बाद माँ के समक्ष "ॐ ह्रीं गौर्ये नमः" का जाप करें
६- जाप के बाद शीघ्र विवाह की प्रार्थना करें
अगर विवाह हो चुका हो और पति पत्नी के बीच काफी ख़राब तालमेल हो आपसी सम्बन्ध चाहकर भी अच्छे न रह पाते हों
१- संध्या काल में माँ गौरी की पूजा करें
२- माँ गौरी के समक्ष घी के तीन दीपक जलाएँ
३- इसके बाद माँ के चरणों में सिन्दूर अर्पित करें
४- माँ को इत्र समर्पित करें तथा १६ इलाइची चढाएँ
५- इसके बाद "ॐ ऐं ह्रीं क्लीं चामुण्डाय विच्चे" का ११ माला जाप करें
६- इलाइची को अपने पास रख लें और प्रसाद की तरह खाते रहें
अगर वैवाहिक जीवन में समस्याएँ काफी बढ़ चुकी हों और विवाह विच्छेद की नौबत आ गई हो . तमाम प्रयासों के बावजूद रिश्ता दोबारा जुड़ न पा रहा हो
१- मध्य रात्रि में माँ गौरी की पूजा करें
२- भगवान शंकर और माँ गौरी की संयुक्त पूजा करें
३- भगवान शंकर और माँ पार्वती को वस्त्र समर्पित करें
४- माँ गौरी को सुहाग की सामग्रियां (सिन्दूर,चूड़ी,बिंदी,आभूषण,मेहंदी,काजल,शीशा,आलता आदि) अर्पित करें
५- इसके बाद "ॐ गौरीशंकराय नमः" का ११ माला जाप करें
६- जाप के पश्चात वैवाहिक जीवन के सुधार की प्रार्थना करें