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मेघालयः खदान में मजदूरों की खोज का 19वां दिन, अब तक के 10 बड़े Update

Meghalaya mine rescue ऑपरेशन 19वें दिन में पहुंच गया है, सोमवार को भारतीय नौसेना के गोताखोर खदान में फिर से घुसे, लेकिन खनिकों के बारे में कोई जानकारी हाथ नहीं लगी. कई प्रयासों के बावजूद फंसे खनिकों तक पहुंचने में कोई कामयाबी नहीं मिली है.

मेघालय में खनिकों को बचाने का अभियान जारी (फाइल फोटो) मेघालय में खनिकों को बचाने का अभियान जारी (फाइल फोटो)
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 01 जनवरी 2019,
  • अपडेटेड 9:20 AM IST

मेघालय के पूर्वी जयंतिया हिल्स जिले के कोयला खदान में फंसे 15 खनिकों की तलाश अब 19वें दिन में पहुंच गई है. भारतीय नौसेना के गोताखोर सोमवार को फिर से खदान में घुसे, लेकिन खनिकों के बारे में कोई जानकारी हाथ नहीं लगी. पूर्वी जयंतिया हिल्स जिले के लमथारी में 370 फुट गहरी अवैध सान खदान में पास की नदी से पानी चले जाने के बाद से 13 दिसंबर से 15 खदानकर्मी फंसे हुए हैं.

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चल रहे रेस्क्यू ऑपरेशन में अब तक के 10 बड़े घटनाक्रम पर एक नजर...

1. ऑपरेशन के प्रवक्ता आर सुसंगी ने कहा कि भारतीय नौसेना के गोताखोरो ने पूर्वी जयंतिया हिल्स जिले में 370 फुट गहरी अवैध कोयला खदान में प्रवेश किया. वहां हाई वाटर ऑपरेटेड व्हीकल (UWROV) जैसे हाई-टेक गैजेट के साथ करीब साढ़े 3 घंटे तक खनिकों की तलाश की गई, लेकिन वहां दृश्यता बेहद कम रही.

2. साढ़े 3 घंटे तक खदान के अंदर गोताखोरों को लकड़ी के कुछ स्ट्रकचर और क्षैतिज होल मिले जिसे आमतौर पर 'रैट होल' कहा जाता है.

3. स्थानीय खबरों के अनुसार, 14 दिन पहले कोयला खदान से बचकर बाहर निकलने वाले 5 लोगों में से एक ने कहा कि किसी भी खनिक के जिंदा वापस लौटकर आने की कोई संभावना नहीं है.

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4. भारतीय गोताखोरों ने कहा कि सर्च ऑपरेशंस खदान के अंदर जल स्तर पर निर्भर करेगा. वर्तमान परिस्थितियों के अनुसार रैट होल खदान में पंप से पानी निकालने में अभी 5 और दिन लग सकता है. जलस्तर कम होने पर ही गोताखोर और अंदर जा सकते हैं. सतह से पानी करीब 150 फीस से ज्यादा ऊपर तक है.

5. सेना और एनडीआरएफ से 6 गोताखोर रविवार को खदान के शाफ्ट के नीचे तक गए, लेकिन करीब 2 घंटे वहां तलाशने के बाद भी खनिकों को तलाश नहीं सके.

6. बचाव अभियान में भारतीय नौसेना के 14, एनडीआरएफ के 72, ओडिशा अग्निशमन दस्ता के 21, कोल इंडिया लिमिटेड के 35 अधिकारियों समेत 200 बचावकर्मी लगे हुए हैं. राज्य आपदा प्रबंधन टीम ने रेस्क्यू ऑपरेशन में कुछ और लोगों को लगाया है.

7. ओडिशा फायर सर्विस ने मेन शॉफ्ट से पंप के जरिए पानी निकालने की कोशिश की जा रही है.

8. ओडिशा अग्निशमन दस्ता के 21 कर्मियों के साथ-साथ ओडिशा फायर सर्विस के कम से कम 10 उच्च तकनीक वाले पंप भी वहां लगाए गए हैं.

9. कम से कम 80 से 90 अन्य प्रतिबंधित खदान शॉफ्ट पानी से लबालब भरे हुए हैं.

10. खनन विशेषज्ञ और अवार्ड विजेता बचावकर्मी जसवंत सिंह गिल ने प्रदेश सरकार और बचाव एजेंसी के बीच समन्वय की कमी होने पर दुख जताया. जसवंत सिंह गिल ने शंका जताई कि यह खदान अंदुरुनी तौर पर अन्य खदानों से जुड़ी हुई है, स्थानीय विशेषज्ञ भी इस पर सहमत हैं.

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