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बैकफुट पर 'मर्सल' के प्रोड्यूसर, कहा- जरूरी है, तो हटा देंगे GST से जुड़ा सीन

विजय की फिल्म मर्सल पर गरमाई हुई राजनीति के बीच फिल्म के प्रोड्यूसर ने ट्विटर पर शेयर किया डेढ़ पेज का लेटर

विजय विजय
हिमानी दीवान
  • नई दिल्ली,
  • 22 अक्टूबर 2017,
  • अपडेटेड 7:21 PM IST

दक्षिण भारतीय अभिनेता विजय की फिल्म मर्सल बॉक्स ऑफिस पर जितना अच्छा प्रदर्शन कर रही है, उसके साथ जुड़ने वाले विवादों की संख्या भी उतनी ही बढ़ती जा रही है. भाजपा ने इस फिल्म से नोटबंदी और जीएसटी से जुड़े संदर्भ हटाने की मांग की थी. अब इस मामले में फिल्म को प्रोड्यूस करने वाली कंपनी श्री थेनंदल फिल्म्स ने अपना पक्ष स्पष्ट किया है. उन्होंने अपने ट्विटर हैंडल पर डेढ़ पेज का एक लेटर शेयर किया है.

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इसमें प्रोड्यूसर मुरली रामास्वामी ने कहा है, ' हमने बीजेपी नेताओं को अपना पक्ष बता दिया है. अगर जरूरी है, तो हम उन दृश्यों को हटाने के लिए तैयार हैं, जिनसे गलतफहमी पैदा हो रही है.'

फिल्म को लेकर बीजेपी-कांग्रेस में टकराव, 3 दिन में 100 करोड़ के करीब

बता दें कि फिल्म में जीएसटी से जुड़ा सीन सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. इसमें फिल्म के हीरो विजय कह रहे हैं, 'सिंगापुर में 7 प्रतिशत जीएसटी है, फिर भी वहां मुफ्त मेडिकल सुविधाएं हैं. जबकि भारत में दवाइयों पर 12 प्रतिशत जीएसटी है और अल्कोहल पर कोई जीएसटी नहीं है.' इस सीन में विजय गोरखपुर ट्रेजेडी पर भी बोलते नजर आ रहे हैं.

शुक्रवार को कमल हसल ने भी विजय के समर्थन में ट्वीट किया था.

कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी और डीएमके के कार्यकारी अध्यक्ष एम.के स्टालिन ने भी इस मामले को लेकर बीजेपी पर हमला बोला है. इस पूरे मसले पर बीजेपी नेता शत्रुघ्न सिन्हा का बयान भी गौर करने लायक है. उन्होंने हाल ही में मीडिया से बातचीत में कहा, 'कुछ लोग नोटबंदी का सपोर्ट करते हैं, कुछ नहीं करते. कुछ लोग जीएसटी को अच्छा समझते हैं, कुछ नहीं समझते. मगर इसका ये मतलब नहीं कि जो लोग आलोचना कर रहे हैं, वो देश विरोधी हो गए हैं. '

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इससे पहले इस मामले में प्रोड्यूसर्स गिल्ड ऑफ इंडिया से जुड़े प्रोड्यूसर सिद्धार्थ रॉय कपूर ने मर्सल के निर्माताओं का बचाव करते हुए कहा था, 'हम सेंसर बोर्ड की सराहना करते हैं, जो अभिव्यक्त‍ि की स्वतंत्रता के मामले में मर्सल के प्रोड्यूसर्स के साथ खड़ा रहा. साथ ही फिल्म के कैरेक्टर द्वारा दी गई अपनी अलग राय को बरकरार रखने की इजाजत दी.

प्रोड्यूसर्स गिल्ड ने की मर्सल जैसे मामलों के लिए अलग अथॉरिटी की मांग

सिद्धार्थ ने कहा, अब हम ऐसे अधिकारियों को नियुक्त किए जाने की उम्मीद करते हैं, जो उन मामलों से निपट सके, जिनमें फिल्म के कंटेंट में बदलाव के लिए निर्माताओं पर दबाव बनाया जाता है. साथ ही सेंसर बोर्ड से सर्टिफाइड फिल्मों को बिना किसी कांट-छांट के रिलीज कराने में मदद करे. रॉय ने कहा, हम ऐसे समय में हैं, जहां कलाकारों का अपने काम के जरिए अलग-अलग राय प्रकट करने के अध‍िकार का समर्थन किया जाता है. इनमें देश के लिए क्या बेहतर है, यह द‍िखाया जाता है.'

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बता दें कि फिल्म को दर्शकों का काफी अच्छा रिस्पॉन्स मिल रहा है. फिल्म मर्सल  ने पहले ही दिन 43.3 करोड़ रुपए का कारोबार किया था. अब तक इसने 70 करोड़ रुपए का कलेक्शन किया है. अब उम्मीद की जा रही है कि ये पहले ही हफ्ते सौ करोड़ क्लब में शामिल हो जाएगी.ये फिल्म 4500 स्क्रीन्स पर रिलीज हुई है.

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