
गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने गुरुवार को दलित उत्पीड़न को लेकर हो रही राजनीति पर चिंता जताई. लोकसभा में इस मसले पर चर्चा के दौरान उन्होंने कहा कि देश में वसुधैव कुटुंबकम की भावना है. दलित मसले पर किसी भी सूरत में राजनीति नहीं होनी चाहिए.
राजनाथ ने कहा कि दलितों का उत्पीड़न खत्म करने की जरूरत है. केंद्र की मौजूदा सरकार दलितों के सामाजिक और आर्थिक उन्नयन की दिशा में काम कर रही है. उन्होंने सांसदों और दूसरी राजनीतिक पार्टियों से अपील की कि वह इस मुद्दे का राजनीतिकरण न होने दें.
सदन में गृह मंत्री के बयान के दौरान कांग्रेस सांसदों ने पहले जहां विरोध में शोर मचाया, वहीं बाद में सदन से वाकआउट भी किया.
राजनाथ के बयान के प्रमुख अंश-
- देश में भ्रम फैलाने की कोशिश हो रही है
- देश में विकृत मानसिकता है, इसे रोकना होगा
- कांग्रेस जो काम 55 साल में नहीं कर पाई, वो हमारी सरकार ने 2 साल में कर दिखाया
- स्वामी विवेकानंद ने कहा था कि जब तक इस देश के गरीबों का उत्थान नहीं होगा तब तक देश का उत्थान नहीं हो सकता
- महात्मा गांधी ने कहा था कि हरिजनों से हमें वैसा व्यवहार करना चाहिए जैसा हम अपने भाई बहन के साथ करते हैं
- जातिवाद, संप्रदायवाद का खात्मा होना चाहिए. हमें मानवता को सर्वोपरि मानना चाहिए
- दलितों को उत्पीड़न रोकने के लिए हमें और कड़े कानून बनाने होंगे
- दलित उत्पीड़न पर राजनीति नहीं होनी चाहिए
- यह भ्रम फैलाया जा रहा है कि बीजेपी सरकार आने के बाद दलितों पर उत्पीड़न बढ़े हैं
- कलेजे पर हाथ रखकर पूछिए कि क्या वाकई दलितों पर उत्पीड़न बढ़ गए हैं. तो जवाब आएगा नहीं
- 55 वर्षों में जो आप नहीं कर पाए वो हमारी सरकार ने दो सालों में किया है
- 47 से अब तक के आंकड़ें उठाकर देखिए, और बताइए क्या हर मामले पर किसी पीएम ने अपना मुंह खोला है
- आप हमको उपाय बताइए, हम वो करने को तैयार हैं
- रामायण और महाभारत को भी रचने वाले महर्षि वाल्मीकि और वेद व्यास ने की, वो भी दलित ही थे
- एक राजा ने कहा पूरी झोपड़ी सोने से भर दूंगा और इसके अलावा अलग से सोना भी दूंगा. इस पर संत रविदास ने कहा कि मुझे तो सिर्फ रामधन ही चाहिए. आपके सोने से मेरा रामधन भी चला जाएगा. ऐसे महान लोगों की है हमारी धरती