
दीवार फिल्म का मशहूर डायलॉग 'आज खुश तो बहुत होगे तुम' को जैसे ही अमिताभ बच्चन ने अपने जोशिले अंदाज में बोला, इंडिया टुडे MindRocks16 इवेंट में मौजूद स्टूडेंट्स का एनर्जी लेवल और बढ़ गया. सदी के महानायक अमिताभ से बात करने और उनके विचारों को सुनने के लिए यंग स्टूडेंट्स बेहद उत्साहित नजर आए, मौका था इंडिया टुडे ग्रुप की ओर से आयोजित मांइड रॉक्स 16 इवेंट का जहां अमिताभ बच्चन हालिया रिलीज फिल्म 'पिंक' की स्टार कास्ट के साथ पहुंचे. फिल्म 'पिंक' और उससे जुड़े अहम मुद्दों पर अपनी अपनी राय कुछ इस अंदाज में रखी.
अमिताभ बच्चन ने अपनी फिल्म पिंक और उनके द्वारा पोती और नातिन को लिखे गए खत के बारे में सबसे पहले यह बताया कि उनकी इस फिल्म का निचोड़ ही उनका आराध्या और नव्या के लिए लिखा गया खत था. अमिताभ बोले- पिंक फिल्म के असल संदेश को ही मैंने इस खत में पिरोया. अमिताभ के इस खत में एक लड़की को हर तरह की बंदिशों जैसे ऐसे कपड़े मत पहनो, बाहर मत जाओ, यह मत करो वो मत करो से फ्री रहना और यह सोचना बंद कर देना कि लोग क्या कहेंगे जैसे मैसेज देने की कोशिश की है. अमिताभ ने कहा कि उनका यह खत सिर्फ हर लड़की ही नहीं बल्कि हर एक लड़के के लिए भी है. लड़कों को भी इस बात का इल्म जरूर होना चाहिए कि लड़कियों को उन्हें कैसे सम्मान देना है.
बच्चन बोल:
1. एक पिता के रूप में मुझे भी टेंशन होती है जब मेरे घर की बेटियां बाहर जाती हैं, उनके वापस लौटने का इंतजार रहता है.
लेकिन एक अभिभावक के रूप में यह स्वाभाविक है.
2. लड़कियों को लड़कों से कम आंकने वालों के लिए मेरे पास एक जवाब है, केबीसी शो के दौरान
मेरे सामने हॉट सीट पर एक लड़की बैठी थी. मैं उसकी कहानी से बेहद प्रभावित हुआ. उस बच्ची ने जब यह बताया कि महज 7 साल की उम्र के बाद उसके
पिता ने उसे इस लिए पढ़ने से रोक दिया कि कल को उसकी शादी हो जाएगी तो उसकी पढ़ाई पर पैसा क्यों खर्च करें. यह बच्ची अपनी शिक्षा के लिए
लड़ी और घर छोड़कर अपने किसी रिश्तेदार के घर रहने लगी, लेकिन वहां भी उसकी पढ़ाई पर रोक लगाई जाने लगी. तभी जैसे तैसे वो लड़की अपने आप
पढ़ी और आज केबीसी के हॉट सीट पर बैठी है. यकीन मानिए उस लड़की ने 25 लाख रुपये इस शो से जीते और जब मैंने उनसे पूछा कि अब आप इन
पैसों का क्या करेंगी तो वह बोली, जाकर अपने पिता को दूंगी और कहूंगी कि सिर्फ बेटा ही नहीं बेटी भी घर की संपत्ति हो सकती है.
3. मैं एक बात
जरूर कहना चाहूंगा कि अगर कोई औरत आपके साथ बैठकर ड्रिंक ले रही है तो इसका मतलब यह नहीं कि वो अवेलेबल है. अगर लड़की किसी बात के
लिए नहीं कह रही है तो उसका मतलब है नहीं, यही संदेश फिल्म पिंक में देने की कोशिश की गई है और समाज को इसे समझना बेहद जरूरी है.
4. अगर एक लड़की भावुक होकर रोती है तो एक आदमी के रोने में भी कोई बुराई नहीं. कई दफा बहुत से मेल को-स्टार्स और सेट पर मौजूद बाकी आदमियों को भावुक होकर रोते देखा है हमने, यहां तक कि मैं खुद भी रोया हूं, तो मुझे लगता है कि एक आदमी अगर रोता है तो इसमें कोई बुराई नहीं है.
5. मैं अपने करियर के कामयाबी का श्रेय अपनी मां को देना चाहूंगा. वह हमेशा से मुझे मेरे काम या किसी भी छोटी बड़ी बात के लिए हिम्मत दिया करती थीं. जैसे कि बचपन की ही बात करें, जब मैं शाम को खेल कर घर लौटता था तो और मां के सामने रोकर कहता था कि मां मुझे उस लड़के ने पीटा तो वह कहती थीं तुरंत लौट जाओ और उसे जवाब दो या पीटो लेकिन घर रोते हुए मत आओ.