
बंगलुरु में 6 लड़कों ने एक 12 साल की लड़की को अपनी हवस का शिकार बना डाला. पीड़िता के परिजनों ने जब पुलिस से न्याय की गुहार लगाई तो पुलिस का एक शर्मनाक चेहरा सामने आया. पीड़िता के साथ थाने में देर रात तक गलत तरीके से पूछताछ गई. हालांकि, पुलिस ने इन आरोपों को खारिज किया है. इस मामले की जांच अभी चल रही है.
जानकारी के मुताबिक, यह मामला रमामूर्थी थाना इलाके का है. बीते 10 जुलाई को आरके पुरम रेलवे स्टेशन के पास 6 नाबालिग आरोपियों ने पीड़िता के साथ गैंगरेप किया. उसी समय वहां से गुजर रही एक महिला ने पीड़िता को उन लोगों से छुड़ाया. आरोपी मौके से फरार हो गए. पीड़िता ने तुरंत घर पहुंच कर आपबीती अपने परिजनों को सुनाई.
अगले दिन 11 जुलाई को पीड़िता के परिजन पुलिस के पास पहुंचे. थाने में पुलिसकर्मी ने कुछ लिखकर एक कॉपी इन्हें दे दी. इसके बाद पीड़ित परिजन लगातार थाने जाते रहे, लेकिन हर बार उन्हें आश्वासन देकर वापस भेज दिया जाता. बीती 20 जुलाई को पीड़िता ने पेट में दर्द होने की शिकायत की, जिसके बाद उसे अस्पताल ले जाया गया.
पूरा मामला पता लगते ही डॉकटर ने पुलिस को सूचित किया. इसके बाद खुलासा हुआ कि इस मामले में अभी तक एफआईआर दर्ज नहीं हुई है. यह मामला बढ़ता देख पुलिस ने पीड़ित परिजनों को थाने में बुलाया. उसे देर रात तक थाने में रोका गया और बार-बार रेप के बारे में सवाल किए गए. इसके बाद परिजनों को एफआईआर की कॉपी दी गई.
पीड़िता ने खुद आरोपियों के पहचान की मांग की तो उसे मना कर दिया गया. पीड़िता ने फेसबुक की मदद से तीन आरोपी पहचाने भी, लेकिन पुलिस ने इस बात पर ध्यान तक नहीं दिया. इस मामले में पुलिस से पूछताछ की गई तो उन्होंने सभी आरोपों को खारिज कर दिया. इंस्पेक्टर चंद्रदारा के मुताबिक, पीड़िता ने हर घंटे अपने बयान बदले हैं.