
बुंदेलखंड के झांसी में इन दिनों कुछ पोस्टर खासे चर्चा में हैं. इन पोस्टरों में राजनीति के धुर विरोधी कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी और केंद्रीय मंत्री उमा भारती एक साथ दिखाई दे रहे हैं. पोस्टर में दोनों से एक ही सवाल पूछा गया है कि आप कहां गायब हैं?
राहुल के पोस्टर इसलिए लगाए गए हैं क्योंकि यूपीए सरकार में 7200 करोड़ रुपए का बुंदेलखंड पैकेज दिलाने के अलावा भी बुंदेलखंड लगातार उनकी प्राथमिकता पर था. उन्होंने बुंदेली के लोककवि ईसुरी के गांव का औचक दौरा भी किया था और कई गांवों में पैकेज का जायजा लेने गए थे. लेकिन लोकसभा चुनाव हारने के बाद से राहुल पूरी तरह गायब हैं.
उधर उमा भारती झांसी से लोकसभा सांसद हैं. वे जब यहां लोकसभा चुनाव लडऩे आई थीं तभी से उनके बाहरी होने का मुद्दा उठता रहा, लेकिन ओलावृष्टि से फसलें बरबाद होने के बाद भी उनकी सक्रियता क्षेत्र में कम ही रही है. होली के बाद उन्होंने झांसी-ललितपुर का दौरा किया भी लेकिन वह प्रेस वार्ताओं और बैठकों तक सीमित रहा. पीडि़त किसानों से मिलने के लिए वे ज्यादा वक्त नहीं निकाल सकीं. उनका कोई स्थायी आवास भी झांसी में नहीं है.
वैसे उमा भारती के लिए पोस्टर लगने का सिलसिला नया नहीं है. झांसी की सांसद बनने से पहले वे चरखारी सीट से विधायक थीं. तब भी उत्तर प्रदेश विधानसभा में उनकी मौजूदगी न के बराबर रही और चरखारी वालों ने भी उनकी गुमशुदगी के पोस्टर लगाए थे. बाद में जब उमा भारती के सांसद बनने के बाद चरखारी विधानसभा सीट पर उपचुनाव हुआ तो वहां बीजेपी प्रत्याशी की जमानत तक जब्त हो गई.