
पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम ने सरकार के राहत पैकेज के आंकड़ों पर सवाल उठाते हुए कहा कि यह वास्तव में सिर्फ 1.86 लाख करोड़ रुपये का है. उन्होंने कहा कि बाकी जो कुछ ऐलान किया गया है, उसका हिसाब पहले ही इस वित्त वर्ष के बजट में दिया जा चुका है.
उन्होंने केंद्र सरकार को चुनौती दी कि वे ऐसा कोई एक इकोनॉमिस्ट भी लेकर आएं जो यह कह सके कि नकदी प्रवाह के उपायों से मांग बढ़ेगी.
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गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इकोनॉमी को बूस्टर डोज के तौर पर 20 लाख करोड़ के पैकेज का पिछले हफ्ते ऐलान किया था. इसके बाद लगातार पांच दिन वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इससे परदा पूरी तरह से हटा दिया है. वित्त मंत्री ने 20 लाख करोड़ रुपये ही नहीं बल्कि कुल 21 लाख करोड़ रुपये के पैकेज का ऐलान कर दिया.
ये है चिदंबरम का हिसाब
पी. चिदंबरम ने पूरा विवरण दिया है कि किस प्रकार सरकार का इस टोटल पैकेज में से खर्च सिर्फ 1.86 लाख करोड़ रुपये होगा. इनमें 22 मार्च 2020 से दी गई टैक्स रियायतों से सरकारी राजस्व को नुकसान 7500 करोड़ रुपये, प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना पैकेज के तहत कैश ट्रांसफर 33,000 करोड़ रुपया और मुफ्त अनाज 60,000 करोड़ रुपये, मेडिकल और हेल्थ इन्फ्रास्ट्रक्चर 15,000 करोड़ रुपये, कारोबारी प्रतिष्ठानों और कामगारों को ईपीएफ सहयोग 2,800 करोड़ रुपये, ईपीएफ रेट घटाने से सरकार का नुकसान 6,750 करोड़ रुपये, किसान क्रेडिट कार्ड से अतिरिक्त कर्ज पर सब्सिडी 8,000 करोड़ रुपये, वायबिलिटी गैप फंडिंग पर खर्च 8,100 करोड़ रुपये और मनरेगा पर अतिरिक्त आवंटन 40,000 करोड़ रुपये प्रमुख मद हैं.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने दिया था इस तरह से हिसाब
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 12 मई को 20 लाख करोड़ रुपये के आर्थिक पैकेज का ऐलान किया है. जिसके बाद पांच दिनों में 13 से 17 मई तक वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आर्थिक पैकेज को अंतिम रूप दिया. उन्होंने बताया कि ये पैकेज आर्थिक रिफॉर्म के लिए है, और इससे देश की अर्थव्यवस्था धीरे-धीरे रफ्तार पकड़ेगी. सरकार की ओर से नए-पुराने ऐलान को मिलाकर कुल 20,97,053 करोड़ रुपये का ब्योरा दिया गया है.
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पहली किस्त
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 13 मई को कुल 5,94,500 करोड़ रुपये के आत्मनिर्भर पैकेज का ऐलान किया.
दूसरी किस्त
14 मई को आर्थिक पैकेज की दूसरी किस्त 3,10,000 करोड़ रुपये की जारी की गई है.
तीसरी किस्त
15 मई को कुल 1,50,000 करोड़ रुपये के पैकेज का ऐलान किया गया. तीसरी किस्त पूरी तरह किसान केंद्रित था.
चौथी और पांचवीं किस्त
चौथी और पांचवीं किस्त में कुल 48,100 करोड़ रुपये के ऐलान किया था. शनिवार को चौथे प्रेस कॉन्फ्रेंस में वित्त मंत्री ने औद्योगिक आधारभूत ढांचों का अपग्रेडेशन, कोयला, खनिज, रक्षा उत्पादन, एयरस्पेस मैनजमेंट, एयरपोर्ट्स, एमआरओ (मेंटनेंस, रिपेयर-ओवरहॉल), केंद्रशासित प्रदेशों में बिजली वितरण कंपनियां, अंतरिक्ष क्षेत्र और परमाणु ऊर्जा के क्षेत्र में सुधारों का ऐलान किया. उसके बाद रविवार को सरकार ने कहा कि मनरेगा के तहत आवंटित रकम में 40 हजार करोड़ रुपये का इजाफा किया गया है. इससे प्रवासी मजदूरों को रोजगार मिलेगा. मनरेगा के तहत पहले बजट अनुमान 61 हजार करोड़ था. इसके अलावा व्यवहार्यता अंतर फंडिंग के तहत 8100 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है.