
भारत में स्वास्थ्य सेवा में श्रेष्ठ परिणामों को बेहतर स्वास्थ्य कार्यप्रणालियों और उत्पादों में नवाचारों के साथ बेहतर रूप से प्राप्त किया जाएगा. केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री जेपी नड्डा ने गुरुवार को फिक्की के वार्षिक कार्यक्रम फिक्की हील (एचईएएल) में पहुंचे. इस अवसर पर अपने संबोधन में जेपी नड्डा ने कहा कि किसी भी इनोवेशन में हमें व्यापकता, कौशल और गति के बारे में सोचना चाहिए.
'अभी भी कठिन चुनौतियां'
जेपी नड्डा ने कहा कि सरकार के सामने आ रही कुछ चुनौतियों के समाधान के लिए निजी क्षेत्र के सुझावों का मंत्रालय स्वागत करता है. उन्होंने कहा कि निजी क्षेत्र को केवल शहरी क्षेत्रों पर ही नहीं, बल्कि उन्हें ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले और कमजोर वर्गों के लोगों पर भी अपना ध्यान केंद्रित करना चाहिए और सेवाओं का उपयोग उन तक पहुंचाने में भी सक्षम होना चाहिए. स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि कुशल मानव शक्ति और मजबूत बुनियादी ढांचे की कमी के कारण कई राज्यों में अभी भी कठिन चुनौतियों से निपटने की जरूरत है.
रोगियों के जेब खर्च में बचत
मंत्री ने कहा कि एक सार्थक परिवर्तन लाने के लिए वार्ता और एक साथ काम करने की तत्काल आवश्यकता है. सस्ती और विश्वसनीय दवाओं के केंद्रों (अमृत) के लाभ पर प्रकाश डालते हुए स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि अमृत क्लीनिकों ने एमआरपी के अनुसार 28 करोड़ रुपये मूल्य की दवाओं की बिक्री की है. हालांकि, इन दुकानों के माध्यम से रोगियों की लागत केवल 9 करोड़ रुपये है और इस तरह से रोगियों के जेब खर्च में 19.00 करोड़ रूपये की बचत हुई है.
नड्डा ने कहा कि सरकार टेलीमेडिसिन के क्षेत्र में भी प्रगति कर रही है. तीन दूरदराज के स्थानों हिमाचल प्रदेश के जिला किन्नौर के पूह में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र, केरल के सबरीमाला में पंपा अस्पताल और अमरनाथ गुफा के मार्ग में शेषनाग पर आधार शिविर प्रारंभ कर दिया गया है. मंत्री ने बताया कि दूरदराज के इन तीन क्षेत्रों में दूरदराज तक स्वास्थ्य देखभाल प्रदान करने के लिए पीजीआई को टेलीमेडिसिन नोड्स के साथ जोड़ दिया गया है.
लोगों में हो जागरूकता: नड्डा
मंत्री ने कहा कि आम तौर पर 'जीवन शैली की बीमारियां कहे जाने वाले प्रमुख गैर संचारी रोगों (एनसीडी) के निवारक पहलुओं पर ध्यान देने की तत्काल आवश्यकता है. उन्होंने कहा सामाजिक व्यवहार में बदलाव एनसीडी को रोकने में एक प्रमुख भूमिका निभाता है. मंत्री ने स्वास्थ्य के बारे में लोगों के बीच व्यापक जागरूकता पैदा करने की आवश्यकता पर जोर देते कहा कि इस दिशा में निजी क्षेत्र का समर्थन महत्वपूर्ण होगा, विशेष रूप से स्कूलों में बच्चों के लिए पाठ्यक्रम तैयार करने में ताकि हम जीवन के प्रारंभिक वर्षों में ही उन्हें स्वस्थ जीवन शैली को अपनाने के लिए प्रोत्साहित कर सकें.