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एअर इंडिया से 'मुक्‍ति' चाहते हैं पायलट, मोदी सरकार से की ये अपील

एअर इंडिया के पायलटों ने सरकार से बिना नोटिस के कंपनी छोड़ने की अनुमति देने की अपील की है. इसके साथ ही बकाया भुगतान करने को कहा है.

कर्ज में डूबी है एअर इंडिया कर्ज में डूबी है एअर इंडिया
aajtak.in
  • नई दिल्‍ली,
  • 26 दिसंबर 2019,
  • अपडेटेड 11:28 AM IST

  • एअर इंडिया के पायलटों ने नोटिस पीरियड खत्म करने की मांग की
  • एअर इंडिया के पायलटों ने अपना बकाया भुगतान करने को कहा

आर्थिक संकट से जूझ रही सरकारी एयरलाइन कंपनी एअर इंडिया के पायलट 'मुक्‍ति' चाहते हैं. दरअसल, एयरलाइन के पायलटों ने सरकार से नोटिस पीरियड खत्म करने की मांग की है. इसके साथ ही बकाया भुगतान करने को कहा है.

भारतीय एयरलाइंस की यूनियन इंडियन कमर्शियल पायलट एसोसिएशन (ICPA) के मुताबिक कंपनी को लेकर अनिश्चितताओं के बीच पायलट इसमें काम करने की स्थिति में नहीं हैं. इस संबंध में यूनियन ने नागरिक उड्डयन राज्य मंत्री हरदीप सिंह पुरी को एक पत्र भी लिखा है. इस पत्र में कहा गया है, ‘‘आपका यह बयान चिंताजनक है कि अगर 31 मार्च 2020 तक एअर इंडिया का निजीकरण नहीं किया गया तो यह एयरलाइन बंद हो जाएगी.’’

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बंधुआ मजदूर की तरह व्यवहार न हो

एयरलाइन के भविष्य को लेकर अनिश्चितता जाहिर करते हुए यूनियन ने मंत्री से यह सुनिश्चित करने के लिए कहा कि पायलटों के साथ ‘बंधुआ मजदूर की तरह व्यवहार नहीं किया जाए और उन्हें निर्धारित न्यूनतम अवधि का नोटिस दिए बगैर एअर इंडिया छोड़ने की छूट दी जाए. इसके साथ ही उनके बकायों का भुगतान किया जाए.’’ यूनियन के मुताबिक सैलरी के भुगतान में देरी की वजह से वे अपनी ईएमआई तक नहीं चुका पा रहे हैं. उनका कहना है कि फ्लाइंग अलाउंस मिलने में देरी से उनको काफी नुकसान हो रहा है क्योंकि यह सैलरी का 70 फीसदी हिस्सा होता है. बता दें कि इस यूनियन में लगभग 800 पायलट हैं.

नोटिस छह माह पहले देना जरूरी

दरअसल, एअर इंडिया में पायलट को नौकरी छोड़ने का नोटिस छह माह पहले देना होता है. इस लंबी अवधि की वजह से किसी अन्‍य एयरलाइन से जुड़ने में दिक्‍कत आ रही है. वहीं बकाया भुगतान नहीं होने की वजह से पायलटों को रोजमर्रा की जिंदगी में परेशानी उठानी पड़ी रही है. बता दें कि एअर इंडिया पर 58,000 करोड़ रुपये से अधिक के कर्ज का बोझ है. वहीं सरकार एअर इंडिया को किसी चुनिंदा निवेशक के हाथ बेचने की तैयारी में लगी है.

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