
राजस्थान कांग्रेस के चीफ व्हिप महेश जोशी ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. महेश जोशी ने राजस्थान हाई कोर्ट के उस फैसले को चुनौती दी है, जिसमें सचिन पायलट और उनके समर्थक विधायकों के खिलाफ अयोग्यता की कार्यवाही स्थगित की गई थी. महेश जोशी ने कहा कि ये स्पीकर के अधिकार में हस्तक्षेप है.
बता दें कि पायलट और उनके गुट की याचिका पर हाई कोर्ट ने स्पीकर सीपी जोशी के फैसले पर रोक लगाते हुए उनके खिलाफ कार्रवाई नहीं करने का आदेश जारी किया था. हाई कोर्ट के इस फैसले पर स्पीकर सीपी जोशी ने भी ऐतराज जताया था और कई सवाल खड़े किए थे.
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उन्होंने कहा कि किसी विधायक को अयोग्य करार देने का अधिकार सिर्फ स्पीकर को ही है. जब तक फैसला ना हो जाए तब तक कोई इसमें दखल नहीं दे सकता है. सीपी जोशी ने यह भी कहा कि हम संसदीय लोकतंत्र का पालन कर रहे हैं. लिहाजा अदालत हमारे कामकाज में दखल नहीं दे सकती है.
इस बीच, महेश जोशी ने पायलट गुट के विधायकों को चेतावनी भी दी है. उन्होंने कहा कि 14 अगस्त से शुरू होने वाले सत्र की कार्यवाही के दौरान अगर पायलट समर्थक विधायक व्हिप का पालन नहीं करते हैं तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है.
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उधर, सीएम गहलोत भी अपने पूर्व साथी पर हमलावर है. उन्होंने कहा कि जब से विधानसभा सत्र का ऐलान हुआ है, विधायकों के रेट बढ़ गए हैं. अगर किसी बागी एमएलए को किस्त ना मिली हो तो वो वापस आ सकता है. गहलोत ने राजस्थान में जारी सियासी संकट के लिए बीजेपी को जिम्मेदार बताया है. उन्होंने कहा कि कोरोना संकट के वक्त में लोगों की मदद करने की बजाय बीजेपी सरकार गिराने की कोशिश कर रही है.