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राम जन्मभूमि मामले के पक्षकार महंत भास्कर दास का निधन

बता दें कि महंत भास्कर दास निर्मोही अखाड़े के सरपंच और नाका हनुमान गढ़ी के महंत थे. भास्कर दास के निधन पर संतों और महात्माओं ने दुख जताया है. राम मंदिर के पक्षकारों में शोक छा गया है. भास्कर का दास पार्थिव शरीर उनके श्रद्धालुओं के दर्शन के लिए हनुमानगढ़ी में रखा जाएगा.

महंत भास्कर दास ने 90 साल की आयु में अंतिम सांस ली. महंत भास्कर दास ने 90 साल की आयु में अंतिम सांस ली.
नंदलाल शर्मा
  • अयोध्या,
  • 16 सितंबर 2017,
  • अपडेटेड 1:56 PM IST

बाबरी मस्जिद-राम जन्मभूमि मामले के प्रमुख पक्षकार महंत भास्कर दास का शनिवार को निधन हो गया. वह 89 साल के थे. निर्मोही अखाड़े के प्रमुख दास 1959 से मामले में याचिकाकर्ता थे.

सांस लेने में दिक्कत के चलते मंगलवार को उन्हें एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था. उनके करीबी सहयोगियों ने बताया कि अयोध्या में शनिवार को तुलसी घाट पर उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा.

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चिकित्सकों ने इससे पहले उन्हें लखनऊ या दिल्ली के किसी बड़े अस्पताल ले जाने की सलाह दी थी. लेकिन वृद्ध पुजारी ने मंदिरों के नगर से दूर जाने से साफ इनकार कर दिया था.

फैजाबाद के सांसद लल्लू सिंह, उत्तर प्रदेश कांग्रेस समिति के पूर्व अध्यक्ष निर्मल खत्री और कई स्थानीय भारतीय जनता पार्टी और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के नेताओं सहित अन्य लोगों ने दास को श्रद्धांजलि दी. दास के सम्मान में हनुमानगढ़ी इलाके में सभी दुकानें बंद हैं.

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