
रुपये के मुकाबले डॉलर भले ही मजबूत होता जा रहा हो, लेकिन इससे फिलहाल भारत को ज्यादा जोखिम नहीं है. वैश्विक वित्तीय फर्म मूडीज ने कहा है कि इससे डरने की जरूरत नहीं है. मूडीज के मुताबिक भारत उन 5 देशों में शामिल है, जिन्हें डॉलर के मजबूत होने से सबसे कम जोखिम है.
मूडीज ने मंगलवार को इस संबंध में एक रिपोर्ट जारी की. रिपोर्ट में भारत के अलावा चीन, ब्राजील, मेक्सिको और रूस को उन 5 देशों में शामिल किया गया है, जिन पर डॉलर के मजबूत होने का ज्यादा जोखिम नहीं है. मूडीज के मुताबिक ये देश बाहरी पूंजी प्रवाह पर कम निर्भर रहते हैं.
मूडीज ने कहा, ''ये देश वित्तीय क्षेत्र के जरिये बड़ी बचत करते हैं. इसके जरिये ये घरेलू स्तर पर ही खुद के फंड का इंतजाम कर लेते हैं. इस वजह से अस्थिर पोर्टफोलियो प्रवाह का इनका जोखिम कम रहता है.
बता दें कि गुरुवार को रुपये में अब तक की सबसे तेज गिरावट देखने को मिली. गुरुवार को रुपया 1 डॉलर के मुकाबले गिरकर 69.10 के स्तर पर पहुंच गया था. हालांकि चौथे कारोबारी दिन में रुपया थोड़ा संभला और यह फिर 68 रुपये के करीब पहुंचने में कामयाब हुआ.
कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों और डॉलर की डिमांड बढ़ने से रुपये में तेज गिरावट दर्ज की गई है. शुक्रवार को रुपया 9 पैसे मजबूत होकर 68.70 के स्तर पर खुला. शुरुआती कारोबार में यह 68.50 के स्तर तक पहुंच गया था.