
दुनिया के सबसे प्रदूषित शहरों में शामिल दिल्ली की आबोहवा को साफ करने की योजना बनाने के लिए सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली सरकार और नई दिल्ली नगर पालिका परिषद (एनडीएमसी) को तीन दिन का समय दिया है.
दिल्ली की पूर्व सरकारें शहर की फैक्ट्री और ट्रैफिक की वजह से फैलने वाले प्रदूषण को रोकने में नाकाम रही. ऐसा पहली बार नहीं हुआ है कि किसी सरकार को कोर्ट की तरफ से इस तरह का नोटिस भेजा गया है, पहले भी ऐसे नोटिस भेजे जा चुके हैं. पूर्ववर्ती सरकारें भीड़भाड़ कम करने के लिए रोड का निर्माण करने में भी विफल रही.
सांइस एंड इनवायरमेंट की रिपोर्ट के मुताबिक सरकारी आंकड़ों से दोगुने तकरीबन 52,000 कमर्शियल परिवहन (टैक्सी के अलावा) हर रोज दिल्ली में प्रवेश करते हैं. ये गाडियां शहर में एक तिहाई प्रदूषण फैलाने में जिम्मेदार मानी जाती हैं.
वकील हरीश साल्वे द्वारा दायर की गई अपील पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को केन्द्र सरकार, दिल्ली सरकार और नगर निगम को तीन दिन के भीतर प्रदूषण से निपटने का उपाय ढ़ूंढ़ निकालने को कहा है.
अदालत ने 15 साल से ज्यादा पुरानी गाड़ी को दिल्ली में प्रतिबंधित कर रखा है.