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PM मोदी के खास अफसर हैं J-K के LG मुर्मू, गुजरात में रह चुके हैं प्रधान सचिव

60 साल के गिरीश चंद्र मुर्मू 1985 के भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) अफसर हैं और वह गुजरात कैडर के अधिकारी हैं. गिरीश चंद्र मुर्मू नए केंद्र शासित प्रदेश के पहले उपराज्यपाल बनाए गए हैं.

नए UT जम्मू-कश्मीर के पहले उपराज्यपाल होंगे गिरीश चंद्र मुर्मू नए UT जम्मू-कश्मीर के पहले उपराज्यपाल होंगे गिरीश चंद्र मुर्मू
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 25 अक्टूबर 2019,
  • अपडेटेड 10:13 PM IST

  • 31 अक्टूबर से केंद्र शासित प्रदेश बन जाएगा जम्मू-कश्मीर
  • आईएएस गिरीश चंद्र मुर्मू बनाए गए पहले उपराज्यपाल

31 अक्टूबर से विशेष राज्य से हटकर नए केंद्र शासित प्रदेश के रूप में भारत के नक्शे पर आने वाले जम्मू-कश्मीर को पहला उपराज्यपाल मिल गया है. जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक का तबादला गोवा कर दिया गया जबकि उनकी जगह नई व्यवस्था के तहत नए केंद्र शासित प्रदेश की जिम्मेदारी वरिष्ठ आईएएस गिरीश चंद्र मुर्मू को सौंपी गई है.

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60 साल के गिरीश चंद्र मुर्मू 1985 के भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) अफसर हैं और वह गुजरात कैडर के अधिकारी हैं. गिरीश चंद्र मुर्मू नए केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर के पहले उपराज्यपाल बनाए गए हैं.

गुजरात में मिली थी अहम जिम्मेदारी

गिरीश चंद्र मुर्मू प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के गुजरात में मुख्यमंत्री रहने के दौरान प्रधान सचिव रहे हैं. वह वर्तमान में वित्त विभाग में व्यय विभाग के सचिव हैं. मुर्मू की गिनती नरेंद्र मोदी के बेहद करीबी अफसरों में होती है और उन्हें मोदी के कार्यकाल के दौरान गुजरात में अहम जिम्मेदारी मिली हुई थी.

वरिष्ठ आईएएस गिरीश चंद्र मुर्मू वित्त ने इस साल के शुरुआत में वित्त विभाग में व्यय विभाग के सचिव का पद संभाला था, जबकि उनके नाम का ऐलान पिछले साल नवंबर में हो गया था.

गिरीश चंद्र मुर्मू ओडिशा के सुंदरगढ़ के रहने वाले हैं. उन्होंने उत्कल यूनिवर्सिटी से परास्नाकत की डिग्री हासिल की थी. इसके बाद उन्होंने यूनिवर्सिटी ऑफ बर्मिघम से एमबीए की पढ़ाई की.

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खजाना बढ़ाने की कवायद

प्रधानमंत्री के पसंदीदा आईएएस अफसरों में शुमार किए जाने वाले गिरीश चंद्र मुर्मू उस समय चर्चा में आए जब सरकार का खजाना खाली हो गया था और सरकार पर पैसों की कमी दूर करने का संकट बना हुआ था तो जुलाई में उनको अहम जिम्मेदारी सौंपी गई. तब उन्होंने 15वें वित्त आयोग के तहत केंद्र के लिए ज्यादा राजस्व की बात कही थी.

मोदी सरकार ने 5 अगस्त को अनुच्छेद 370 को निष्प्रभावी किए जाने के साथ ही जम्मू-कश्मीर से विशेष राज्य का दर्जा खत्म कर दिया और 2 केंद्र शासित प्रदेशों में बांट दिया गया. जम्मू-कश्मीर और लद्दाख दो नए केंद्र शासित प्रदेश के रूप में 31 अक्टूबर को देश के नक्शे पर आएंगे.

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