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शत्रुघ्न सिन्हा बोले- आडवाणी का साथ देने की सजा दे रही है पार्टी

शत्रुघ्न सिन्हा जब बोले तो खुलकर बोले यहां तक बोल गए कि लालकृष्ण आडवाणी का साथ देने की सजा उन्हें पार्टी दे रही, लेकिन वह लालकृष्ण आडवाणी के साथ खड़े रहेंगे और इसके लिए उन्हें कोई भी सजा कुबूल है.

शत्रुघ्न सिन्हा शत्रुघ्न सिन्हा
अंकुर कुमार/कुमार अभिषेक
  • लखनऊ ,
  • 12 नवंबर 2017,
  • अपडेटेड 4:27 AM IST

फिल्मों में अपने डायलॉग "खामोश" को अपनी पहचान से जोड़ने वाले शत्रुघ्न सिन्हा को "खामोश" करना शायद सियासत के वश का नहीं है. तभी तो बिहारी बाबू, अपनी बात हो या अपना दर्द खुलकर और बेबाकी से रखते हैं. शनिवार आजतक से बात करते हुए उनका सियासी दर्द उनके जुबान पर छलक आया.

शत्रुघ्न सिन्हा जब बोले तो खुलकर बोले यहां तक बोल गए कि लालकृष्ण आडवाणी का साथ देने की सजा उन्हें पार्टी दे रही, लेकिन वह लालकृष्ण आडवाणी के साथ खड़े रहेंगे और इसके लिए उन्हें कोई भी सजा कुबूल है.

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शत्रुघ्न सिन्हा ने सबसे बड़ा आरोप पार्टी पर यह लगाया उन्हें और तमाम बड़े नेताओं को इसलिए ठिकाने लगाया जा रहा है, क्योंकि इन्होंने लालकृष्ण आडवाणी का साथ दिया और उनके लिए लगातार खड़े रहे. बिहारी बाबू ने कहा. "अगर हमे आडवाणी जी के कैंप का होने या उनकी चिंता को सार्वजानिक करने की वजह से अगर ये सज़ा दी गई तो ये कबूल है.''

शत्रुघ्न सिन्हा ने आडवाणी को राष्ट्रपति नहीं बनाने पर भी अपनी आपत्ति खुलकर जताई, सिन्हा ने कहा " लालकृष्ण आडवाणी को राष्ट्रपति बनाने के लिए पूछा तक नहीं गया. सभी को उम्मीद थी कि आडवाणी जी को प्रेसिडेंट बनाया जायेगा लेकिन क्या हुआ, क्यों उनसे नहीं पूछा गया."

पार्टी के भीतर बोलने की आजादी नहीं

बिहारी बाबू ने बीजेपी पर बड़ा आरोप जड़ा और कहा पार्टी बोलने का फोरम नहीं दिया जाता इसी वजह है पार्टी में जब प्लैटफॉर्म नहीं मिलता तो हम मीडिया के जरिए अपनी बात रख रहा हूं. जब पार्टी फोरम नहीं मिलेगा तो एक ही रास्ता मीडिया है, जहां अपनी बात रखूंगा.

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'अब मैं मुक्त हूं'

बिहारी बाबू के भीतर इतना दर्द भरा है कि अब खुद को पार्टी से मुक्त मानने लगे हैं. आजतक से खास बातचीत में साफ कहा "मैं जनता की बात बेबाकी से रखता हूं, अब मुझे क्या है "चाह गई चिंता गई मन हुआ बेपरवाह जाको कछु नहीं चाहिए वही शहंशाह" मुझे आप से न कोई इच्छा न अपेक्षा है.

न चमचा हूं, न दरबारी हूं

शत्रुघ्न सिन्हा ने आजतक से साफ कहा" मैं सरकारी नहीं हूं, चमचा नहीं हूं, दरबारी भी नहीं हूं, मैं खुददार हूँ सेल्फ मेड हूं. मेरा नाम सबसे आखिर में चुनाव मे घोषित हुआ. ऐसा क्यों हुआ, क्यों मेरे चुनाव प्रचार में कोई बड़ा नाम नहीं आया.

मंत्री पद की इच्छा नहीं

बिहारी बाबू अपने पूरे रौ में थे मंत्री नहीं बनने का दर्द भी छलक गया और बोल गए आखिर और क्या कारण हो सकता है. क्या मेरा परफॉर्मेंस खराब था, क्या कोई भ्रष्टाचार का आरोप है, आखिर क्या कारण है. जैसे-तैसो को जिस-तिस को मंत्री बनाया गया और मुझे, अरुण शौरी या यसवंत सिन्हा को नहीं बनाया गया. क्या वजह है कि अरुण शौरी जैसे लोगों को टैलेंट पूल तक में शामिल नहीं किया गया."

पीएम ने नहीं दिया समय

सिन्हा ने कहा पीएम से हमने और यसवंत सिन्हा जी ने मिलने का वक्त मांगा था, नहीं मिला. अभी हाल में मैं पीएम से मिलने के लिए वक्त मांगा लेकिन कहा गया मोटासेठ यानि राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह से मिल ले. उन्हें लगा हम मंत्री बनने के लिए वक्त मांग रहे हैं. मुझे मंत्री नहीं बनना लेकिन वो नहीं मिले. भाई क्यों? हमने कोई मंत्री बनने के लिए नहीं बल्कि फीड बैक देने के लिए टाइम मांगा था.

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पार्टी से नाराज़गी पर बोले

पहली बात पार्टी से मैं नाराज नहीं हूं, पार्टी से प्रेम है, उस वक्त शामिल हुआ जब दो सांसद थे. अब रही बात नाराजगी की, तो गनीमत है लोग अब नाराज कहते हैं. जो भी सच बोले उसे नाराज के ब्रेकेट में डाल दिया जाता है. मैं क्यों नाराज रहूंगा मैं चाहता हूं पार्टी आगे बढ़े, लेकिन पार्टी के कुछ लोग और नेताओं की वजह से मैं बोलता हूं. क्योंकि मुझे लगता है पार्टी के सभी फैसले सही नहीं है. बिहारी बाबू ने नोटबंदी और GST पर पार्टी की धज्जियां उड़ा दी, शत्रुघ्न सिन्हा ने कहा " अगर सरकार का सब फैसला सही होता तो GDP में क्यों लुढ़क रहे होते.

जब हम सबने कहा नोटबंदी डिजास्टर है, नोटबंदी की वजह से लोग की नौकरियां गई हैं. सबने कहा, रिजर्व बैंक ने कहा, मनमोहन सिंह ने कहा कि नोटबंदी की वजह से चार लाख नौकरियां जा चुकी हैं. हम सब ने कहा था और अब तो जीएसटी नीम के ऊपर करेला जैसा है.

GST पर फिर से फैसले को बदलने का श्रेय भी बिहारी बाबू भी खुद को देते हैं कहते है इसका श्रेय हम सभी को जाता है, लेकिन क्रेडिट से क्या होगा अब तो कहता हूं बड़ी देर कर दी मेहरबान आते आते. अब लोग कह रहे हैं कि ये सब ड्रामा है आप चुनाव के समय पर gst में राहत का ऐलान कर रहे हैं.  

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स्टार कैंपेनर पर बोलते हुए बिहारी बाबू ने कहा कि मैं कभी यूपी का बेस्ट और सबसे बड़ा स्टार कैंपेनर रहा हूं. लेकिन मुझे म्यूनिसिपल चुनाव तक में कैंपेनर नहीं बनाया गया.

पार्टी में वन मैन शो और टू मैन आर्मी है

बिहारी बाबू ने कहा जब मैं वन मैन शो और टू मैन आर्मी है कहता हूं तो ये मैं फीड बैक दे रहा हूं कि दरबारी, सरकारी और चमचों से काम न चलाये. जरा हमें भी सुने, हमे तक़लीफ होती है जब लोग कहते हैं कि आपकी पार्टी वन मैन शो और टू मैन आर्मी है.

राहुल पर कहा

गुजरात चुनाव में राहुल गांधी को आप हल्के मे नहीं ले सकते, विपक्ष को कमजोर न समझे, हनुमान ने लंका में आग लगा दी थी. गुजरात चुनाव बीजेपी के लिए चुनाव नहीं चुनौती होगा. 2019 मुश्किल है लेकिन अब भी नामुमकिन नहीं है. लेकिन इसके लिए सभी नाराज लोगों को एकसाथ लेना पड़ेगा. शत्रुघ्न सिन्हा ने कांग्रेस की तारीफ करते हुए कहा कि IIT IIM किसने दिया, क्या सब विकास आज ही हो रहा है. नेहरू से लेकर इन्दिरा तक सबने विकास किया है. नोटबंदी में सरकार को sorry कहना चाहिए. अगर नोटबंदी सही होता तो जनता जश्न मना रही होती न की सरकार. शत्रुघ्न सिन्हा ने कहा कि मुझ पर कार्रवाई का अधिकार उनका है. अगर उन्हें लगता है कि मैंने गलत किया है तो वो फैसला लेने को स्वतंत्र हैं.

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