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आधुनिक दिल्ली की शिल्पकार थीं शीला दीक्षित, बदल दी थी राजधानी की तस्वीर

दिल्लीवाले शीला दीक्षित को एक शानदार मुख्यमंत्री के तौर पर हमेशा याद रखेंगे जिन्होंने इस शहर को सजाया-संवारा. वह लागातार तीन बार दिल्ली की मुख्यमंत्री रहीं और राष्ट्रीय राजधानी को विकसित करने को लेकर शानदार काम किया.

दिल्ली के विकास में निभाई अग्रणी भूमिका (फाइल फोटो) दिल्ली के विकास में निभाई अग्रणी भूमिका (फाइल फोटो)
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 20 जुलाई 2019,
  • अपडेटेड 6:19 PM IST

दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस की वरिष्ठ नेता शीला दीक्षित का आज निधन हो गया. दिल्लीवाले उन्हें एक शानदार मुख्यमंत्री के तौर पर हमेशा याद रखेंगे जिन्होंने दिल्ली को सजाया-संवारा. वह लगातार तीन बार दिल्ली की मुख्यमंत्री रहीं.  राष्ट्रीय राजधानी को विकसित करने को लेकर उन्होंने शानदार काम किया.

दिल्ली में फ्लाईओवर, सड़क, डीटीसी बस सेवा, अस्पताल, यूनिवर्सिटी और मेट्रो को स्थापित करने में शीला दीक्षित का बड़ा योगदान माना जाता है. ब्लू लाइन बस को हटाकर नये किस्म की बसों को डीटीसी के बेड़े में शामिल करने जैसे कदम भी उन्होंने ही उठाया था. दिल्ली को प्रदूषण मुक्त बनाने के लिए शीला दीक्षित ने मुख्यमंत्री रहते हुए सीएनजी की व्यवस्था की थी.

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आज दिल्ली को फ्लाईओवर और रिंग रोड के लिए जाना जाता है. ट्रैफिक को कम करने में रिंग रोड की बड़ी भूमिका है. इस रिंग को आकार देने में भी शीला दीक्षित ने बड़ी भूमिका निभाई थी. उनके मुख्यमंत्री रहने के दौरान ही रिंग रोड के ढांचे को आकार और उसे विस्तार दिया गया.

इसीलिए देश के लोकप्रिय मुख्यमंत्रियों में उनका नाम हमेशा लिया जाएगा. सौम्य छवि उनकी सफलता का बड़ा कारण थी. यह तो साफ है कि भौगोलिक, शैक्षिक, सांस्कृतिक और आर्थिक तौर पर दिल्ली खुशहाल राज्य है, जहां समस्याएं अपेक्षाकृत कम देखने को मिलती हैं.

बता दें कि दिल्ली में काफी काम शीला दीक्षित के कौशल से हुआ. हालांकि वह भाग्यशाली भी रहीं और हालात ऐसे बने कि सब कुछ उनके पक्ष में होता चला गया. एक समय दिल्ली को बीजेपी का गढ़ माना जाता था, लेकिन शीला दीक्षित ही वह नेता थीं, जिन्होंने बीजेपी के कब्जे से दिल्ली को निकालकर कांग्रेस को सत्ता पर बैठाया था.

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