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बॉक्सिंग में स्टेट चैंपियन लेकिन झाड़ू-पोंछा करने को मजबूर

करोड़ों की बोली लगे खिलाड़ियों का IPL शुरू होने ही को है इसी बीच भारतीय खेलों को शर्मसार करती एक खबर भी जान लीजिए. हरियाणा की बॉक्सिंग स्टेट चैंपियन रिशु मित्तल अपने जोरदार मुक्कों से विरोधी को धूल चटा देती थी. आज वही रिशू लोगों के घरों में झाड़ू-पोंछा कर गुजारा करने को मजबूर है.

रिशू मित्तल रिशू मित्तल
aajtak.in
  • कैथल,
  • 07 अप्रैल 2015,
  • अपडेटेड 12:19 AM IST

करोड़ों की बोली लगे खिलाड़ियों का IPL शुरू होने ही को है इसी बीच भारतीय खेलों को शर्मसार करती एक खबर भी जान लीजिए. हरियाणा की बॉक्सिंग स्टेट चैंपियन रिशु मित्तल अपने जोरदार मुक्कों से विरोधी को धूल चटा देती थी. आज वही रिशू लोगों के घरों में झाड़ू-पोंछा कर गुजारा करने को मजबूर है.

हरियाणा के कैथल की रहने वाली रिशू दसवीं कक्षा में पढ़ती है. बेहद गरीब घर से ताल्लुक रखने वाली रिशु अपना गुजारा करने के लिए मकानमालिक के घर झाड़ू-पोंछा करती है. 10वीं में पढ़ने वाली 16 साल की रिशू ने स्टेट लेवल बॉक्सिंग चैम्पियनशीप का खिताब जीता है. रिशू के कोच राजेंद्र सिंह बताते हैं, 'एक बॉक्सर के लिए अच्छी डाइट सबसे जरूरी होती है. बेहद कमजोर घर से आने वाली रिशू बमुश्किल अपना भोजन जुटा पाती है, ऐसे में अतिरिक्त पोषण वाले आहार की तो बात ही छोड़ दीजिए. लेकिन वह बेहद मेहनती लड़की है. अगर उसे प्रोत्साहन दिया जाए तो वह देश का नाम रौशन कर सकती है.'

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रिशू सुबह पांच बजे स्टेडिम जाकर बॉक्सिंग का अभ्यास करती है. इसके बाद वह घर आकर खाना बनाती है फिर स्कूल जाती है. स्कूल से लौटकर मकानमालिक के घर का काम करती है और फिर स्टेडियम जाकर अभ्यास करती है. ऐसी मुश्किल हालत में जी-तोड़ मेहनत करने वाली रिशू अपने जज्बे को कब तक बरकरार रख पाएगी यह तो नहीं कहा जा सकता. उसके कोच राजेंद्र सिंह का कहना है अगर सरकार या कोई संस्था रिशू की मदद को आगे आएं तो देश को एक और मैरीकॉम मिल सकती है.

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