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रत्नों में है हर बुरी आदत से मुक्त‍ि दिलाने की शक्त‍ि

ज्योतिष के जानकारों की मानें तो इंसान को गलत दिशा में ले जाने के लिए कुंडली के ग्रह ही जिम्मेदार होते हैं. ऐसे में कुछ खास रत्नों के प्रयोग से आप अपनी हर बुरी आदत से छुटकारा पा सकते हैं.

रत्न दे सकते हैं जीवन को सही दिशा रत्न दे सकते हैं जीवन को सही दिशा
मेधा चावला
  • नई दिल्ली,
  • 07 जनवरी 2016,
  • अपडेटेड 10:11 PM IST

ग्रह हमें कई तरीके से कमजोर करते हैं या हमें गलत राह पर ले जाते हैं. कई बार ऐसा भी होता है कि न चाहते हुए भी हमारा व्यवहार खराब हो जाता है. ऐसे में जिंदगी को सही तरीके से चलाने में रत्न बड़े काम आते हैं.

अगर आपको बार-बार गुस्सा आता है और आप तैश में आकर सभी से झगड़ा करते हैं. या फिर दिन-ब-दिन आलसी और लापरवाह होते जा रहे हैं या नशे की लत आपके जीवन को तबाह कर रही है. इन तमाम बुराइयों को दूर करने में मददगार होंगे रत्न.

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रत्न कैसे दूर कर सकते हैं बुरी आदतें किसी ग्रह के खराब होने से हमारे भीतर बुरी आदतें पैदा होती हैं. ग्रह लंबे समय तक खराब हो तो ये आदतें स्थाई हो जाती हैं. अगर हम विशेष रत्नों से विशेष तरंगें शरीर में भेजें तो फिर ये आदतें ठीक होने लगती हैं. कुछ खास रत्नों के प्रयोग के साथ खुद भी बुरी आदतें छोड़ने की कोशिश करें. आप इनसे जल्द छुटकारा पा लेंगे.

किस बुरी आदत को किस रत्न से ठीक किया जा सकता है, जानें यहां -

मैलाकाइट दूर करेगा नशे की लत
आमतौर पर शनि और राहु के कारण होती है नशे की आदत. तो इनको संतुलित करने वाला रत्न धारण करने से लाभ होगा. नशे की आदत छुड़ाने में सबसे प्रभावशाली रत्न होता है मैलाकाइट. यह हरे रंग का पत्थर होता है जिस पर धारियां नजर आती हैं.
मैलाकाइट को चांदी की अंगूठी में बाएं हाथ की कनिष्ठा अंगुली में पहनें. इस रत्न को बुधवार की सुबह धारण करना चाहिए.

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सुनहला भगाएगा गुस्सा
पाप ग्रहों के प्रभाव से वाणी और स्वभाव खराब होते हैं. वहीं, बृहस्पति का प्रभाव अच्छा होने से धैर्य और अच्छी वाणी मिलती है. यानी बृहस्पति को मजबूत करके वाणी और क्रोध दोनों ठीक कर सकते हैं.
बृहस्पति को ठीक करने के लिए सबसे अच्छा रत्न है सुनहला. यह पीले रंग का पारदर्शी पत्थर होता है. इसे बृहस्पतिवार को सोने या पीतल की अंगूठी में दाहिने हाथ की तर्जनी अंगुली में पहनें.

गार्नेट नहीं होने देगा सुस्त
मंगल या सूर्य कमजोर होने पर इंसान की ऊर्जा कम हो जाती है और ऐसी दशा में इंसान लापरवाह व आलसी हो जाता है. अगर शरीर में अग्नि तत्व को मजबूत किया जाए तो यह आदत छूट सकती है.
इसके लिए सबसे उत्तम रत्न है गार्नेट. इस रत्न को सोने या तांबे की अंगूठी में दाहिने हाथ की अनामिका अंगुली में रविवार को धारण करें.

सोडालाइट की मदद से छोड़ें गलत संगति
इस आदत के लिए बहुत सारे ग्रह जिम्मेदार होते हैं. कुंडली का कमजोर चंद्रमा या खराब शनि इस आदत के मुख्य कारण हैं और इसे छोड़ सकते हैं सोडालाइट रत्न की मदद से.
यह सफेद धारियों वाला नीले रंग का पत्थर है. इसे चांदी की अंगूठी में बाएं हाथ की मध्यमा अंगुली में पहनें. इस रत्न को धारण करने का दिन शनिवार है.

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तो इन रत्नों की मदद से आप जिंदगी में आई तमाम बुराइयों से छुटकारा पा सकते हैं. हां, इसके साथ आपको दिखानी होगी थोड़ी इच्छा-शक्त‍ि भी. तभी ये रत्न भी अपना जादुई प्रभाव सही तरीके से दिखा सकेंगे.

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