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आधार-पैन लिंकिंग के लिए बचा सिर्फ 6 दिन: यूआईडीएआई

भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (यूआईडीएआई) ने कहा है कि करदताओं के लिए अपने पैन को आधार से जोड़ने की निर्धारित समयसीमा कायम रहेगी और उच्चतम न्यायालय के निजता पर फैसले से इस आवश्यकता पर कोई प्रभाव नहीं होगा.

अब नहीं बढ़ेंगी आधार पैन की लिंकिंग डेडलाइन अब नहीं बढ़ेंगी आधार पैन की लिंकिंग डेडलाइन
राहुल मिश्र
  • नई दिल्ली,
  • 25 अगस्त 2017,
  • अपडेटेड 6:03 PM IST

भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (यूआईडीएआई) ने कहा है कि करदताओं के लिए अपने पैन को आधार से जोड़ने की निर्धारित समयसीमा कायम रहेगी और उच्चतम न्यायालय के निजता पर फैसले से इस आवश्यकता पर कोई प्रभाव नहीं होगा.

यूआईडीएआई के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) अजय भूषण पांडे ने कहा कि सरकारी सब्सिडी, सामाजिक योजनाओं और अन्य लाभों का लाभ लेने के लिए आधार देने की अनिवार्यता भी फिलहाल जारी रहेगी. सरकार ने पैन को आधार से जोड़ने की समयसीमा बढ़ाकर 31 अगस्त कर दी है.

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उच्चतम न्यायालय के फैसले से आधार और पैन को जोड़ने पर क्या असर होगा? यूआईडी के सीईओ ने कहा, पैन को आधार से जोड़ने को आयकर कानून में संशोधन के जरिये अनिवार्य किया गया है. कानून के तहत यह काम जारी रहेगा. इसमें कोई बदलाव नहीं होगा.

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यूआईडी की तरफ से साफ किया कि चाहे आधार कानून के प्रावधानों के तहत हो या आयकर कानून या मनी लांड्रिंग कानून के तहत, विभिन्न समयसीमाओं का पालन करना होगा क्योंकि ये कानून वैध हैं. यूआईडी ने भरोसा जताया कि आधार कानून अपने डेटा सुरक्षा सेफगार्ड के जरिये निजता के मौलिक अधिकार के तहत खरा उतरेगा.

यूआईडी की तरफ से यह भी कहा गया है कि आधार के लिए नामांकन भी बिना किसी अड़चन के जारी रहेगा. उन्होंने कहा कि आधार कानून में निजता की सुरक्षा के पहले से प्रावधान हैं. इसमें बिना संबंधित व्यक्ति की सहमति के डेटा को साझा नहीं किया जाता है.

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ये है आधार-पैन लिंकिंग का आसान तरीका

हालांकि आधार-पैन लिंकिंग की आखिरी तारीख को 31 अगस्त तक करना एक रूटीन फैसला है और इस तारीख के बाद भी देश में आधार और पैन की लिंकिंग का काम भी किया जाएगा. आधार पैन लिंकिंग की आखिरी तारीख पर बोलते हुए वित्त मंत्री अरुण जेटली ने सफाई दी है कि लिकिंग का यह काम एक सतत प्रक्रिया है और देश में जैसे-जैसे नए पैन और आधार बनते रहेंगे, लिंकिंग का काम जारी रहेगा.

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लिहाजा, जिनके पास यह दोनों दस्तावेज नहीं हैं और उन्हें फिलहाल बैंकिंग और अन्य कारोबार अथवा केन्द्र सरकार की योजनाओं का लाभ नहीं लेना है उनके लिए लिकिंग की यह आखिरी तारीख कोई मायने नहीं रखती. यदि किसी आधार धारक के पास पैन नहीं है तो वह स्वेच्छा से उसे बनवा सकता है.

क्यों जरूरी है पैन कार्ड और इसकी आधार से लिंकिंग

नए पैन कार्ड से बैंकों के लिए ग्राहकों का पैन कार्ड वैरिफिकेशन का काम बेहद आसान हो जाएगा. क्यूआर कोड की मदद से इसे महज चंद सेकेंड़ों में पूरा किया जा सकेगा. वहीं पुराने पैन कार्ड में कार्ड होल्डर के वैरिफिकेशन की प्रक्रिया बेहद पेंचीदी थी और अधिक समय लगता था. गौरतलब है कि देश में कालेधन पर लगाम लगाने और केन्द्र सरकार के विकास के कार्यक्रमों से चोरी रोकने के लिए पैन और आधार की लिंकिंग बेहद जरूरी है.

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