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मां-बाप और गर्लफ्रेंड की हत्या कर दफनाने वाले सीरियल किलर की खौफनाक दास्तान

मध्य प्रदेश के भोपाल में 24 अप्रैल, 1984 को वीरेंद्र दास और इंद्राणी दास के घर पैदा हुए उदयन के बारे में किसी ने नहीं सोचा था कि वह शातिर दिमाग कातिल निकलेगा. बचपन से ही गलत संगत में पड़ गए उदयन की 10वीं तक की पढ़ाई भोपाल में हुई थी. उसके बाद 12वीं तक की पढ़ाई के लिए रायपुर चला गया. इसके बाद भिलाई के रूमता कॉलेज में इंजीनियरिंग की पढ़ाई के लिए दाखिला लिया, लेकिन तीसरे साल में फेल हो गया.

साइको सीरियल किलर उदयन दास साइको सीरियल किलर उदयन दास
मुकेश कुमार
  • नई दिल्ली,
  • 06 फरवरी 2017,
  • अपडेटेड 6:40 PM IST

मानवीय इतिहास में सीरियल किलिंग की घटनाएं काफी पुरानी हैं. 'सीरियल किलर' ठग बहराम से लेकर निठारी के 'नर पिशाच' सुरेंद्र कोली तक अनेकों नाम हमारे सामने हैं. aajtak.in ऐसी घटनाओं पर एक सीरीज पेश कर रहा है. इस कड़ी में आज हम बताने जा रहे हैं मध्य प्रदेश के भोपाल में रहने वाले एक ऐसे सनकी सीरियल किलर के बारे में, जिसने अपने मां-बाप और गर्लफ्रेंड को मौत के घाट उतार कर उन्हें जमीन में दफना दिया.

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- मध्य प्रदेश के भोपाल में 24 अप्रैल, 1984 को वीरेंद्र दास और इंद्राणी दास के घर पैदा हुए उदयन के बारे में किसी ने नहीं सोचा था कि वह शातिर दिमाग कातिल निकलेगा. बचपन से ही गलत संगत में पड़ गए उदयन की 10वीं तक की पढ़ाई भोपाल में हुई थी. उसके बाद 12वीं तक की पढ़ाई के लिए रायपुर चला गया. इसके बाद भिलाई के रूमता कॉलेज में इंजीनियरिंग की पढ़ाई के लिए दाखिला लिया, लेकिन तीसरे साल में फेल हो गया.

- वहीं, वेस्ट बंगाल के बांकुरा की रहने वाली आकांक्षा 2007 से उदयन के संपर्क में आई थी. दोनों सोशल नेटवर्किंग साइट फेसबुक के जरिए एक-दूसरे से जुड़े थे. आकांक्षा ने जयपुर से एमएससी की पढ़ाई की थी. उसके बाद दिल्ली में रहने लगी. उदयन ने अपनी गर्लफ्रेंड आकांक्षा को बताया था कि वह अमेरिका में रहता है. अपने घरवालों से मिलने के लिए अक्सर भोपाल आया करता है. वहीं, आकांक्षा उससे मिलने फ्लाइट से भोपाल जाती थी.

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प्रेमी से मिलने फ्लाइट से जाती थी आकांक्षा
- पुलिस के मुताबिक, उदयन अपनी गर्लफ्रेंड से कहता था कि उसके पास समय बहुत कम है. वह कुछ दिन के लिए आकांक्षा के साथ रहना चाहता है. उसके बाद अमेरिका चला जाएगा. इस वजह से आकांक्षा उदयन से मिलने के लिए फ्लाइट से भोपाल आ जाती थी. उदयन से मिलकर जैसे ही वापस जाती वह वापस अपने घर चला जाता. उसका यही झूठ आकांक्षा के लिए काल साबित हो गया. उसे जब उदयन की हकीकत पता चली, तो दोनों में झगड़ा हुआ.

शक की वजह से ली थी आकांक्षा की जान
- आकांक्षा के सामने जब उदयन की पोल खुल गई, तो वह उससे खफा रहने लगी. उसकी बेरूखी उदयन को खटकने लगी. उसको कई बार ऐसा लगता था कि चोरी छुपे आकांक्षा किसी से फोन पर बात करती थी. इस बात पर 14 जुलाई. 2016 को दोनों में बहस हुई. इस बहस के बाद उदयन उसने मारने का प्लान बना लिया. अगली सुबह उठते ही आकांक्षा के सीने पर बैठ गया. तकिए से उसका तब तक मुंह दबाता रहा, जब तक कि उसकी सांसें नहीं थम गईं.

टीवी सीरियल देख बनाया खौफनाक प्लान
- आरोपी उदयन की मानें तो अंग्रेजी हॉरर टीवी शो 'वॉकिंग डेड' के सीजन-5 को देखकर उसको आइडिया मिला कि कैसे अपनी गर्लफ्रेंड की लाश को ठिकाने लगाया जाए. इसी आधार पर उसने आकांक्षा की लाश को घर में दफन कर दिया था. इतना ही नहीं साल 2011 में उसने अपने माता-पिता की भी हत्या की थी और उनकी लाश घर के गार्डन में दफना दी थी. पुलिस ने खुदाई के दौरान आकांक्षा और उसके मां-बाप का कथित कंकाल बरामद किया है.

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10 मिनट तक दबाता रहा मां का गला
- पुलिस को पूछताछ में उदयन ने बताया कि वो 10 मिनट तक मां का गला दबाता रहा. वहीं पिता को मारने के लिए उसने चाय में नींद की गोलियों का इस्तेमाल किया. हालांकि एक और बयान में उसने मां को भी नशीली दवा देने की बात कही है. दोनों हत्याएं उसने शाम करीब 4 बजे की थी. इसके बाद उदयन के सामने लाश को जमीन पर दफनाने की चुनौती थी. ऐसे में उसने सामने के घर में काम कर रहे मजदूरों को गड्डा खोदने के लिए तैयार किया.

मां-बाप के शव को उदयन ने यूं दफनाया
- उदयन ने मजदूरों को कहा कि उसे सेप्टिक टैंक खोदना है. रात में काम होगा इसलिए दोगुने पैसे दिए जाएंगे. मजदूरों ने शाम 6:30 बजे खुदाई शुरू की. तकरीबन 4 से 5 घंटे तक खुदाई करने के बाद वे पैसे लेकर चले गए. मजदूरो से उसने टैंक के लिए करीब सात फिट गहरा गड्ढा खुदवाया. उनके जाने के बाद रात लगभग 12:30 बजे उसने अपने माता-पिता को गड्डे में दफनाया. इसी अंदाज में अपनी गर्लफ्रेंड का कत्ल करने के बाद उसे दफनाया था.

कॉलगर्ल के साथ गर्लफ्रेंड की कब्र पर सोता
- उदयन के मुताबिक आकांक्षा की हत्या के बाद वो डिप्रेशन में चला गया था. रोज शराब पीकर खुद को ख़त्म करने की कोशिश करता था, लेकिन आत्महत्या की हिम्मत नहीं जुटा पाया. कहा तो यहां तक जा रहा है कि उदयन अपनी गर्लफ्रेंड की कब्र पर रोज सोता था. उस सुगंधित परफ्यूम छिड़कता था. कभी कभार तो कॉलगर्ल बुलाकर उनके साथ राते रंगीन करता था. पुलिस के लिए हत्याकांड की गुत्थी एक चुनौती बनती जा रही हैं. हर दिन नए राज सामने आ रहे हैं.

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