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'Facebook चुपके से खत्म कर रहा आपके फोन की बैटरी', पूर्व कर्मचारी ने लगाया आरोप

Facebook Negative Testing: बड़ी संख्या में लोग फेसबुक का इस्तेमाल करते हैं, लेकिन क्या आप जानते हैं फेसबुक आपके फोन की बैटरी चुपके से यूज करता है. इसका इस्तेमाल कंपनी अपने फायदे के लिए करती है. यूजर्स को नेगेटिव टेस्टिंग के बारे में कोई जानकारी नहीं होती है. इस बारे में कंपनी के पूर्व कर्मचारी ने जानकारी दी है. आइए जानते हैं इसकी पूरी डिटेल.

Facebook खत्म कर रहा आपके फोन की बैटरी Facebook खत्म कर रहा आपके फोन की बैटरी
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 03 फरवरी 2023,
  • अपडेटेड 9:23 AM IST

क्या आपके फोन की बैटरी भी तेजी से खत्म होती है? वैसे ये बात किसी ने छिपी नहीं है कि कुछ ऐप्स बहुत ज्यादा बैटरी यूज करते हैं. इसकी वजह से आपके फोन की बैटरी लाइफ कम होती है, लेकिन क्या हो अगर आपको पता चले कि कुछ ऐप्स अपने फायदे के लिए ऐसा कर रहे हैं. Facebook के एक्स-एंप्लॉय ने ऐसा दावा किया है. 

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कंपनी के पूर्व कर्मचारी की मानें तो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म जानबूझकर स्मार्टफोन्स की बैटरी खत्म करता है. कंपनी ऐसा नेगेटिव टेस्टिंग की वजह से करती है. रिपोर्ट्स की मानें तो फेसबुक नेगेटिव टेस्टिंग करती है, जिसकी वजह से यूजर्स की फोन की बैटरी जल्द खत्म होती है. 

क्या होती है नेगेटिव टेस्टिंग? 

डेटा साइंटिस्ट George Hayward ने इसकी जानकारी दी है. उन्होंने बताया कि सोशल मीडिया कंपनी Facebook नेटेगिव टेस्टिंग करती है, जिससे किसी यूजर के मोबाइल फोन की बैटरी तेजी से खत्म होती है. इस तरह के टेस्ट सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स के विभिन्न फीचर्स को जांचने के लिए किए जाते हैं.

इसमें चेक किया जाता है कि ऐप कितनी तेजी से रन कर सकता है या फिर उनके ऐप के साथ क्या दिक्कतें हैं. इन टेस्ट के बारे में सबसे बुरा ये है कि यूजर्स को इनके बारे में जानकारी नहीं होती है.

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नौकरी से निकाल दिया

रिसर्च ने इस तरह की प्रैक्टिस को नुकसानदायक बताया है. उन्होंने बताया, 'मैंने इस बारे में मैनेजर से बात की'. उन्होंने कहा कि कुछ लोगों के नुकसान से हम बहुत से लोगों का भला कर सकते हैं. 33 साल के एक्स-एम्प्लॉय ने फेसबुक के खिलाफ मैनहैटन फेडरल कोर्ट में केस किया है. 

रिसर्चर ने बताया कि उन्होंने नेगेटिव टेस्टिंग करने से इनकार कर दिया था, इसलिए उन्हें कंपनी से निकाल दिया गया. वो Facebook Messenger ऐप के लिए काम करते थे. 

George ने बताया कि उन्हें इसकी जानकारी नहीं है कि कितने यूजर्स पर नेगेटिव टेस्टिंग का असर हुआ है. इस मामले पर फेसबुक की पैरेंट कंपनी Meta ने कोई जवाब नहीं दिया है.

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