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नई टेक्नोलॉजी हमारे लिए कई सारे नए फीचर्स और सुविधाएं लेकर आती है. नए फीचर्स किसे पसंद नहीं आएंगे, लेकिन नई टेक्नोलॉजी एक कीमत पर आती है. किसी भी नई चीज के आते ही मौजूदा चीज पुरानी हो जाती है.
लगातार बढ़ते खर्च और महंगी होती चीजों के बीच बहुत से लोगों के लिए पुरानी चीज को हटा पाना संभव नहीं है. लैपटॉप से जुड़ी टेक्नोलॉजी बहुत तेजी से तो नहीं लेकिन धीरे-धीरे काफी बदल चुकी है.
साल 2016 में खरीदे 30 हजार रुपये के बजट वाले एक लैपटॉप में 4GB RAM और 1TB हार्ड ड्राइव स्टोरेज मिलता था. उस वक्त 30 हजार रुपये भी ज्यादा थे और इस कीमत पर मिलने वाला यह लैपटॉप भी एक मिड रेंज कॉन्फिग्रेशन वाला था.
वक्त से अब इस लैपटॉप की स्पीड और बैटरी लाइफ दोनों ही बहुत कम हो चुकी है. ऐसे में क्या 6 साल पुराने इस लैपटॉप को बेच देना चाहिए? इस तरह के सवाल बहुत से यूजर्स के हो सकते हैं.
स्मार्टफोन के मुकाबले लैपटॉप की लाइफ ज्यादा होती है, लेकिन इनका इस्तेमाल भी स्मार्टफोन के मुकाबले कम होता है. लैपटॉप यूजर्स का एक बड़ा हिस्सा ऐसा है, जो लैपटॉप को बहुत कम वक्त के लिए यूज कर पाता है. ऐसे में पुरानी हो चुकी टेक्नोलॉजी को नया कैसे किया जाए. गूगल के पास आपकी इस समस्या का हल है.
Google ने इस तरह के लैपटॉप्स के लिए Chrome OS Flex लॉन्च किया है. इस ऑपरेटिंग सिस्टम को आप पुराने लैपटॉप पर इंस्टॉल करके उसे नया जन्म दे सकते हैं. Chrome OS Flex और Chrome OS में आपको पूरी तरह के एक एंड्रॉयड एक्सपीरियंस मिलेगा.
जिन लोगों ने क्रोमबुक यूज की है, वह इस ऑपरेटिंग सिस्टम के बारे में जानते होंगे. इसके लिए आपको कोई पैसे खर्च नहीं करना पड़ेगा. आप बहुत ही आसानी से अपने लैपटॉप पर क्रोम ओएस को इंस्टॉल कर सकते हैं.
चूंकि, यह एक लाइट ऑपरेटिंग सिस्टम है, इसलिए आपके पुराने हार्डवेयर पर भी आसान से रन कर लेता है. गूगल ने इसे खासतौर पर पुराने विंडोज लैपटॉप और मैकबुक के लिए लॉन्च किया है. क्रोम ओएस फ्लेक्स इंस्टॉल करते हुए यूजर को कुछ बातों का ध्यान जरूर रखना होता है.
आपको अपने डेटा का बैकअप किसी दूसरी हार्ड डिस्क में क्रिएट करना होगा. इस प्लेटफॉर्म पर ना सिर्फ आपके पुराने लैपटॉप की स्पीड बेहतर होगी बल्कि आपको पहले से ज्यादा बैटरी लाइफ भी मिलेगी. क्रोम ओएस पर आप एंड्रॉयड प्लेटफॉर्म वाले ऐप्स भी यूज कर सकेंगे.
ध्यान रहे कि गूगल का Chrome OS Flex सभी डिवाइसेस पर काम नहीं करता है. गूगल ने इसकी एक लिस्ट जारी कर रखी है, जिस पर ठीक से काम करने वाले डिवाइसेस की जानकारी दी गई है.
कई ऐसे भी मॉडल हैं, जिन पर गूगल का यह ऑपरेटिंग सिस्टम काम कर जाता है और उनका नाम इस लिस्ट में नहीं है. ऐसे डिवाइसेस पर Chrome OS Flex को डाउनलोड करना रिस्की होता है.
इसके लिए आपके सिस्टम में कम से कम 4GB RAM और 16GB इंटरनल स्टोरेज होना चाहिए. साथ ही सिस्टम USB ड्राइव की मदद से बूटेबल होना चाहिए.