
फोन पर लाइव टीवी देखने के लिए अभी आपको दो तरह से खर्च करने पड़ते हैं. एक तो OTT का सब्सक्रिप्शन और दूसरा इंटरनेट का खर्च. मगर आने वाले वक्त में आपको इन दोनों खर्च से निजात मिल सकती है. इसके लिए सरकार एक बड़े प्लान पर काम कर रही है. सरकार एक ऐसे टेक्नोलॉजी को एक्सप्लोर कर रही है, जिसकी मदद से यूजर्स बिना इंटरनेट के लाइव टीवी देख सकेंगे.
इस टेक्नोलॉजी का नाम Direct 2 Mobile है, जो सुनने में काफी हद तक डायरेक्ट टूम होम जैसी है. फेक न्यूज से बचने, इमरजेंसी अलर्ट और प्राकृतिक आपदा समेत दूसरे वक्त में सरकार इस टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर सकती है.
DoT इस पर एक स्टडी कर रहा है, जिसकी मदद से ब्रॉडकास्ट सर्विस को सीधे यूजर्स के स्मार्टफोन पर स्पेक्ट्रम बैंड की मदद से पहुंचाया जा सके. सितंबर में आईआईटी कानपुर ने प्रसार भारती के साथ मिलकर D2M टेक्नोलॉजी पर काम शुरू किया है. हालांकि इस टेक्नोलॉजी को यूजर्स तक पहुंचने में थोड़ा वक्त लगेगा. आइए जानते हैं ये टेक्नोलॉजी क्या है और कैसे काम करती है.
D2M पर अभी काम चल रहा है और इसे आम लोगों तक पहुंचने में तीन से चार साल का वक्त लग सकता है. ये टेक्नोलॉजी पूरी तरह से FM रेडियो वाले कॉन्सेप्ट पर काम करती है, जो एक रिसीवर की मदद से रेडियो फ्रिक्वेंसी को एक्सेस करती है.
OTT प्लेटफॉर्म भी D2M टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर सकते हैं, जिससे मल्टीमीडिया कंटेंट को सीधे फोन पर देखा जा सकेगा. फिलहाल प्रसार भारती 526-582 MHz बैंड्स का इस्तेमाल टेस्ट के लिए कर रही है.
इस टेक्नोलॉजी की मदद से इंटरनेट एक्सेस के बिना ही यूजर्स OTT प्लेटफॉर्म्स को एक्सेस कर सकेंगे. आसान भाषा में कहें तो ये टेक्नोलॉजी वैसे ही काम करेगी, जैसे पहले दूरदर्शन के चैनल का प्रसारण होता था. हालांकि, उस वक्त एक रिसीवर का इस्तेमाल करना होता था, लेकिन आने वाले वक्त में यह रिसीवर आपके फोन में ही होगा.