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अकाउंट में एक भी रुपया नहीं फिर भी आपको लग सकता है लाखों का चूना... साइबर फ्रॉड के इस तरीके से बचके

कई बार हमें लगता है कि हमारे अकाउंट में एक भी रुपया नहीं है, तो कोई क्या ही फ्रॉड कर लेगा, लेकिन हकीकत इससे काफी अलग है. स्कैमर्स आपके अकाउंट से दूसरे तरीकों से भी पैसा निकाल सकते हैं. यहां तक कि जब आपके पास पैसे ना हों, तब भी. कस्टमर केयर फ्रॉड का शिकार हुई महिला के साथ भी ऐसा हुआ. सेविंग के साथ उनके नाम पर लोन और क्रेडिट कार्ड के जरिए भी स्कैमर ने पैसे निकाल लिए.

Customer Care Fraud: ना OTP की जरूरत ना बैक अकाउंट की Customer Care Fraud: ना OTP की जरूरत ना बैक अकाउंट की
अभिषेक मिश्रा
  • नई दिल्ली,
  • 07 अप्रैल 2023,
  • अपडेटेड 2:01 PM IST

कस्टमर केयर फ्रॉड... शायद आपने कई बार इससे जुड़े किस्से सुने होंगे. फला आदमी को कस्टमर केयर से फोन आया और उनके अकाउंट से कई लाख रुपये कट गए. आपके आसपास भी इस तरह के फ्रॉड के शिकार हुए लोग हो सकते हैं. सवाल आता है कि कस्टमर केयर के नाम पर ये फ्रॉड हो कैसे रहा है और आप इससे बच कैसे सकते हैं. 

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हाल में ही एक महिला के साथ ऐसा ही फ्रॉड हुआ है. स्कैमर्स के जाल में फंसने के साथ वो इतनी डर चुकी हैं कि अपनी सिक्योरिटी और प्राइवेसी को लेकर परेशान हैं. ये पूरा स्कैम एक लिंक से शुरू हुआ, जो फ्रॉडस्टर ने उन्हें भेजा था. दरअसल, महिला ने ट्रेन टिकट बुक की थी, लेकिन किन्हीं कारणों से उन्होंने उसे कैंसल कर दिया. 

टिकट कैसिंलेशन के बाद उनके अकाउंट में रिफंड अमाउंट जीरो दिखा रहा था. ऐसे में उन्होंने कस्टमर केयर से बात करने का फैसला किया. इसके लिए महिला ने गूगल पर Ticket Cancellation Refund सर्च किया. उन्हें सर्च रिजल्ट में सबसे ऊपर कस्टमर केयर का नंबर मिला, जो असल में फ्रॉडस्टर का था. 

आजतक डिजिटल से बातचीत में महिला ने बताया कि ये नंबर उन्हें IRCTC की वेबसाइट से भी ऊपर दिख रहा था. जब उन्होंने इस नंबर पर कॉल किया, तो उनके साथ लाखों का फ्रॉड हो गया. 

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कैसे हुआ फ्रॉड? 

महिला ने बताया कि बातचीत में कॉलर इतना कन्वेंसिंग था कि, उन्हें एक बार भी स्कैम का ख्याल तक नहीं आया. स्कैमर ने उन्हें एक लिंक भेजा और उस पर अपनी कंप्लेंट रजिस्टर करने के लिए कहा. यहां जब उन्होंने लिंक को लेकर संदेह जाहिर किया, तो कॉलर ने बताया कि वो OTP तो मांग नहीं रहा है.

ऐसा करके फ्रॉडस्टर ने महिला को अपनी बातों में उलझाए रखा और उनके फोन में संदिग्ध ऐप प्लांट कर दिया. इस ऐप की मदद से उसे महिला के फोन का फुल कंट्रोल मिल गया. पीड़िता की मानें तो स्कैमर उनकी फोटोज और दूसरी डिटेल्स तक एक्सेस कर पा रहा था.

उन्हें अपनी बातों में फंसाए रखने के लिए वो थोड़े-थोड़े देर में ट्रेन से जुड़ी जानकारियां भी शेयर करता रहता, जो वास्तव में पहले से ही महिला के फोन में मौजूद थी. इसके बाद फ्रॉडस्टर ने Net Banking लॉगइन के जरिए महिला के अकाउंट से ट्रांजैक्शन किया.

पहले तो उसने खुद को Payee ऐड किया और फिर 3 लाख रुपये का ट्रांजेक्शन कर लिया. इसके बाद फ्रॉडस्टर ने महिला के नाम पर 2.96 लाख रुपये का पर्सनल लोन भी लिया. इस वक्त तक महिला को अपने साथ हो रहे फ्रॉड का अंदाजा हो गया था और उन्होंने इसके लिए शिकायत भी करनी शुरू की.

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सबसे पहले उन्होंने बैंक में फोन किया और अपने अकाउंट को ब्लॉक कराया, लेकिन तब तक स्कैमर ने कुल 5 लाख रुपये का ट्रांजैक्शन कर लिया था. पहले 3 लाख सेविंग से निकालने के बाद उसने महिला के क्रेडिट कार्ड से 2 लाख रुपये ट्रांसफर किए. गनीमत ये रही कि लोन अमाउंट को वो ट्रांसफर नहीं कर पाया.

किन दिक्कतों का करना पड़ा सामना? 

सब कुछ ब्लॉक करने के बाद महिला ने 1930 पर कॉल किया.  पुलिस ने बताया कि उनकी लोकेशन फिलहाल हरियाणा है और वो दिल्ली एनसीआर की रहने वाली हैं, तो उन्हें दिल्ली में शिकायत करानी होगी. चूंकि इस हादसे के वक्त ट्रेन में थी, तो दिल्ली पहुंचते ही उन्होंने कमला मार्केट साइबर सेल में अपनी शिकायत दर्ज कराई.

इसके बाद उन्हें नोएडा सेक्टर 142 के पुलिस स्टेशन में भी शिकायत दर्ज करानी पड़ी. इतना ही नहीं उन्होंने इस पूरे मामले को लेकर ट्वीट भी किए. पीड़िता ने बातचीत में बताया कि उनके घर तीन बार पुलिस बयान और जांच से जुड़ी पूछताछ के लिए आई, लेकिन उनके पैसे कब तक मिलेंगे, इसकी कोई तारीख नहीं मालूम है.

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ये पैसे उनकी सैलरी अकाउंट में थे और लगभग यही उनकी कुल सेविंग भी थी. उनके पास दूसरे अकाउंट्स भी हैं, लेकिन उनमें कुछ ही रुपये हैं. ऐसे में उन्होंने रोजमर्रा के खर्च के लिए भी जूझना पड़ रहा है.

वो कहती हैं, 'मुझे हर वक्त ये डर सता रहा है कि उसने (स्कैमर) मेरी फोटोज और दूसरी डिटेल्स को भी एक्सेस किया. कहीं वो इनका गलत इस्तेमाल ना करें. किसी भी नए नंबर से कॉल आती है, तो लगता है कि कहीं कोई स्कैमर तो नहीं है.'

कैसे होता है कस्टमर केयर स्कैम?

इस तरह के स्कैम के शिकार हुए ज्यादातर लोग ऑनलाइन कस्टमर केयर का नंबर सर्च कर रहे होते हैं. स्कैमर्स कई तरह से अपने नंबर को ऑनलाइन रजिस्टर रखते हैं. इसके लिए फेक वेबसाइट्स तक क्रिएट की जाती हैं. जैसे ही कोई यूजर उनके जाल में फंसता है, स्कैमर्स अपना खेल शुरू कर देते हैं. 

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पहले तो ट्रांजैक्शन के लिए स्कैमर्स OTP मांगते थे, लेकिन पिछले कुछ वक्त में उन्होंने स्कैम का पूरा तरीका बदल दिया है. सबसे पहले वो एक लिंक भेजते हैं और फिर यूजर के फोन में एक ऐप इम्प्लॉन्ट करते हैं. इसकी मदद से वे यूजर की तमाम डिटेल्स को एक्सेस कर लेते हैं. बल्कि उनके पास आपके फोन का एक्सेस ही पहुंच जाता है. इसके बाद उन्हें आपसे OTP पूछने की जरूरत नहीं पड़ती है. 

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पैसे नहीं होने पर भी कैसे लग सकता है चूना? 

दरअसल, कई बार हमें लगता है कि हमारे अकाउंट में पैसे नहीं हैं, तो हमारे साथ फ्रॉड हुआ तो क्या नुकसान होगा? इसे समझना होगा भले ही आपके अकाउंट में पैसे नहीं हों, लेकिन यूजर्स आपके नाम पर लोन लेकर भी पैसे ट्रांसफर कर सकते हैं. इतना ही नहीं आपके क्रेडिट कार्ड से भी पैसे ट्रांसफर किए जा सकते हैं. ऐसे में भले ही अकाउंट में पैसे नहीं हों, लेकिन फ्रॉडस्टर आपको चूना लगा सकते हैं.

कैसे बच सकते हैं आप? 

इंटरनेट की इस दुनिया में सावधानी और सतर्कता ही आपका बचाव कर सकती है. किसी भी वेबसाइट को सर्च करते हुए ध्यान रखें कि कोई उस नाम से फर्जी वेबसाइट भी क्रिएट कर सकता है. स्कैमर्स इस तरह की वेबसाइट को असली जैसा डिजाइन करते हैं, जिससे लोग उनके जाल में फंस जाएं. 

इससे बचने के लिए आप हमेशा भरोसेमंद सोर्स से ही कस्टमर केयर का नंबर सर्च करें. बल्कि आधिकारिक वेबसाइट से ही कस्टमर केयर का नंबर लें. आपको कंप्लेंट रजिस्टर करने के लिए किसी लिंक पर क्लिक करने की जरूरत नहीं होती है. अगर कोई आपको ऐसा करने के लिए कहता है, तो सावधान हो जाएं. 

कभी भी अपने फोन में कोई अनजान ऐप डाउनलोड नहीं करें. अगर कोई आपको लिंक भेज कर ऐप डाउनलोड करने के लिए कहता भी है, तो उस पर क्लिक ना करें. किसी भी ऐप को अपने फोन की परमिशन देने से पहले रिव्यू करें उसे इसकी जरूरत क्यों है. 

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अगर आपको लगता है कि आपका डेटा भी लीक हुआ है, तो आप इसे आसानी से चेक कर सकते हैं. इसके लिए आपको https://haveibeenpwned.com/ पर जाना होगा. इसे एक स्वतंत्र सिक्योरिटी रिसर्च फर्म ऑपरेट करती है. इस वेबसाइट पर जाकर आपको अपनी ईमेल आईडी एंटर करनी होगी. इसके बाद आपको पता चलेगा कि आपका कौन सा डेटा लीक हुआ है. 

(क्या आपके साथ भी हुआ है ऐसा ही कोई स्कैम या आप बने हैं किसी तरह की साइबर ठगी के शिकार? अगर हां, तो हम उठाएंगे आपके लिए आवाज. अपनी कहानी साझा करें abhishek.mishra1@aajtak.com पर मेल भेजकर. मेल के साथ FIR की कॉपी जरूर संलग्न करें. ताकि आपकी कहानी से दूसरे रीडर भी ठगों के मंसूबे और पैंतरे समझ सकें और इस लूट से बच सकें. अगर आप चाहेंगे, तो आपकी पहचान को गुप्त रखा जाएगा.)

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