एस्ट्रो अंकल आज आपको बताएंगे शुक्र प्रदोष का व्रत करके कैसे भयंकर रोगों को दूर किया जा सकता है. शास्त्रों में प्रदोष व्रत भगवान शिव की महा कृपा पाने का दिन है. जो प्रदोष शुक्रवार के दिन आता है उसे शुक्र प्रदोष कहते हैं. शुक्र प्रदोष व्रत करके कोई भी भक्त अपने मन की इच्छा को बहुत जल्द पूरा कर सकता है. हर महीने की दोनों पक्षों की त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत किया जाता है. किसी भी प्रदोष व्रत में भगवान शिव की पूजा शाम के समय सूर्यास्त से 45 मिनट पूर्व और सूर्यास्त के 45 मिनट बाद तक की जाती है. शुक्र प्रदोष का व्रत करके जीवन के समस्त रोग दोष शोक कलह क्लेश हमेशा-हमेशा के लिए खत्म हो जाते हैं.