शुभ मंगल सावधान में आज हम आपको बताएंगे मां कुष्मांडा की महिमा के बारे में. अपनी मंद हंसी से ब्रह्माण्ड का निर्माण करने वाली मां कूष्मांडा देवी दुर्गा का चौथा स्वरुप हैं. मां कुष्मांडा की पूजा नवरात्रि के चौथे दिन की जाती है. मान्यतानुसार सिंह पर सवार मां कूष्मांडा सूर्यलोक में वास करती हैं, जो क्षमता किसी अन्य देवी देवता में नहीं है. मां कूष्मांडा अष्टभुजा धारी हैं और अस्त्र- शस्त्र के साथ मां के एक हाथ में अमृत कलश भी है.