9 महीने हो चुके हैं दुनिया को कोरोना वायरस से जूझते हुए. इसके अलावा भी कई बीमारियां लोगों को परेशान कर रही हैं. कोरोना के लिए वैक्सीन बनाई जा रही है. कोरोना मरीजों को कुछ एंटी-वायरल दवाएं भी दी जा रही हैं. लेकिन वैक्सीन और दवा में क्या अंतर है? कैसे काम करते हैं दोनों? क्या दोनों का असर एक जैसा होता है? आइए जानते हैं इस अंतर को...(फोटोः रॉयटर्स)
वैक्सीन (Vaccine) जिसे टीका भी कहते हैं, वह आपको बीमारी से बचाने के लिए होती है. यह बीमारी किसी भी तरह के बैक्टीरिया या वायरस से हो सकती है. यह शरीर में एक ऐसे एजेंट के तौर पर विकसित की जाती है जो आपको खास तरह के बैक्टीरिया या वायरस से बीमार होने से बचाती है. (फोटोः रॉयटर्स)
वैक्सीन इसलिए बनाई जाती है ताकि उसे आपके शरीर में डालकर आपको कई तरह की बीमारियों से लड़ने लायक बनाया जा सके. जैसे- चिकनपॉक्स, एचआईवी, हेपटाइटिस-बी, पोलियो, खसरा आदि. यानी आपके शरीर की प्रतिरोधक क्षमता (Immune System) को मजबूत बनाया जा सके. (फोटोः रॉयटर्स)
दूसरी तरफ, दवाएं (Medicine) वो होती हैं, जो आपको बीमारियों से ठीक करती हैं. दर्द, बुखार, उल्टी आने जैसे लक्षणों से आराम दिलाती हैं. ये आपके शरीर में हुई बीमारी के खतरनाक लक्षणों को कम या खत्म करती हैं. इससे आपको आराम मिलता है और बीमारी धीरे-धीरे खत्म हो जाती है. (फोटोः एएफपी)
दवाओं में गोलियां, पाउडर, जेल, क्रीम, लोशन या इंजेक्शन का उपयोग किया जाता है. जबकि, वैक्सीन या तो सुई से शरीर में डाली जाती है या फिर मुंह के जरिए बूंदों के रूप में. ये किसी केमिकल, हर्बल या बायोलॉजिकल उत्पाद से बनाई जाती हैं. (फोटोः गेटी)
जैसे जब बच्चा पैदा होता है तो उसे कुछ वैक्सीन यानी टीके लगवाने होते हैं, जो उसे अगले कुछ वर्षों और भविष्य में होने वाली खतरनाक बीमारियों से लड़ने में मदद करते हैं. लेकिन जब बच्चा बीमार पड़ता है तो डॉक्टर उसकी बीमारी ठीक करने के लिए दवाएं देते हैं. (फोटोः गेटी)
वैक्सीन और दवा में स्पष्ट तौर पर अंतर यही है कि वैक्सीन आपको बीमारी से बचाने के लिए दी जाती है. जबकि, दवा बीमार होने के बाद ठीक होने के लिए. दवाओं का मकसद आपकी बीमारी को खत्म करने, कम करने, जड़ से मिटाने आदि में किया जाता है. (फोटोः गेटी)
दोनों में सिर्फ अंतर ही नहीं कुछ समानताएं भी हैं. वैक्सीन और दवा दोनों चिकित्सीय उत्पाद हैं. वैक्सीन और दवा दोनों के साइड इफेक्ट्स भी होते हैं. वैक्सीन और दवा दोनों ही बीमारी को ठीक कर सकते हैं, उनसे बचा सकते हैं. या फिर दोनों कर सकते हैं. (फोटोः रॉयटर्स)
वैक्सीन ज्यादातर बायोलॉजिकल उत्पाद होते हैं. यानी किसी बैक्टीरिया या वायरस के जेनेटिक स्ट्रेन लेकर बनाए जाते हैं. लेकिन दवाएं रासायनिक, हर्बल या बायोलॉजिकल हो सकती हैं. यह निर्भर करता है दवा बनाने वाली कंपनी पर. (फोटोः रॉयटर्स)
वैक्सीन को रखने के लिए खास तरह के तापमान और परिस्थितियों की जरूरत होती है. वहीं, दवाओं के ऊपर ऐसा लागू नहीं होता. कई दवाएं ठंडे में रखी जाती हैं, कई दवाएं आप सामान्य तापमान में भी रख सकते हैं. (फोटोः रॉयटर्स)