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WHO रिपोर्टः इस देश में कोरोना से ज्यादा मौतें मच्छरों से फैलने वाली बीमारी से

aajtak.in
  • 30 नवंबर 2020,
  • अपडेटेड 2:09 PM IST
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इस देश में कोरोना से ज्यादा मौतें मच्छर से फैलने वाली एक बीमारी की वजह से हुई हैं. विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने सोमवार को इस बात की घोषणा की है. इस देश में मच्छरों से होने वाली बीमारियों से बचने के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रयास चल रहे हैं लेकिन कोरोना वायरस के चलते कई महीनों तक अन्य बीमारियों की वैक्सीन और दवाओं के सप्लाई में काफी देरी हुई थी. जिसकी वजह से मच्छरों से फैलने वाली बीमारियों ने यहां के लोगों की जान ले ली. (फोटोः गेटी)

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WHO मलेरिया प्रोग्राम के निदेशक पेड्रो आल्सोन्सो ने बताया कि पूरी दुनिया में पिछले साल 4.09 लाख लोग मलेरिया से मारे गए. इसमें से ज्यादातर अफ्रीका के गरीब देशों के छोटे बच्चे हैं. विश्व स्वास्थ्य संगठन की वैश्विक मलेरिया रिपोर्ट के अनुसार इस साल भले ही कोरोना की वजह से ज्यादा लोग मरे हों, लेकिन अफ्रीका में मलेरिया से मरने वालों की संख्या काफी ज्यादा है. (फोटोः गेटी)

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साल 2019 में पूरी दुनिया में मलेरिया से हुई मौतों का आधा हिस्सा अफ्रीका के सब-सहारन देशों का है. नाइजीरिया में 23 फीसदी, कॉन्गो में 11 फीसदी, तंजानिया में 5 फीसदी, नाइजर और मोजाम्बिक में 4-4 फीसदी और बुर्कीना फासो में 4 फीसदी मौतें मलेरिया की वजह से हुई हैं. (फोटोः गेटी)  

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पेड्रो आल्सोन्सो ने बताया कि अफ्रीका के सब-सहारन इलाकों में 20 हजार से 1 लाख लोग सिर्फ मलेरिया की वजह से मारे गए हैं. जबकि, इस इलाके में कोरोना से उतने लोग नहीं मरे. साल 2019 में पूरी दुनिया में मलेरिया के 22.90 करोड़ मामले सामने आए. इस दौरान बहुत से देशों ने कोरोना वायरस महामारी होने के बावजूद मलेरिया से संघर्ष किया. (फोटोः गेटी)

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साल 2016 के बाद अब तक अफ्रीका के सब-सहारन देशों ने बहुत मेहनत की ताकि मलेरिया को रोका जा सके लेकिन कोरोना वायरस की वजह से इस पर पानी फिरता दिख रहा है. WHO के मुताबिक मलेरिया को हराने का संघर्ष कोरोना वायरस की वजह से एक पीढ़ी पीछे चला गया है. हमें अब कोरोना समेत अन्य बीमारियों से लड़ने के लिए ज्यादा तेजी से काम करना होगा. (फोटोः गेटी)

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वर्तमान समय में मलेरिया की बढ़ती गति को अगर नहीं रोका गया तो दुनिया की आधी आबादी इसकी शिकार हो सकती है. WHO के अनुसार पूरी दुनिया में हर दो मिनट में मलेरिया की वजह से एक बच्चे की मौत हो रही है. कोरोना की वजह से पूरी दुनिया का ध्यान मलेरिया जैसी घातक बीमारियों से हटकर कोविड-19 की तरफ चला गया है, जो बेहद खतरनाक साबित हो सकता है. (फोटोः गेटी)

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ग्लोबल फंड्स टू फाइट एड्स, टीबी एंड मलेरिया के एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर पीटर सैंड्स ने कहा कि WHO की रिपोर्ट एकदम सही समय पर सामने आई है. इस समय पूरी दुनिया, स्वास्थ्य जगत, मीडिया, राजनीति सबकुछ कोविड-19 पर फोकस हो गया है लेकिन मलेरिया हर साल 4 लाख से ज्यादा लोगों को अपना शिकार बना रहा है. इसमें सबसे ज्यादा खतरा बच्चों को है. (फोटोः गेटी)

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हैरानी की बात ये है कि हमें पता है कि मलेरिया को कैसे ठीक कर सकते हैं. इससे कैसे बच सकते हैं. इसके बावजूद दुनियाभर में मलेरिया से इतने लोगों के मरने की खबर सामने आ रही है. पूरी दुनिया को खास तौर से अफ्रीका महाद्वीप पर मौजूद गरीब देशों की मदद के लिए आगे आना चाहिए. साथ ही मलेरिया के खिलाफ अपनी मुहिम को कमजोर नहीं पड़ने देना चाहिए. (फोटोः गेटी)

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