
दिल्ली में सेल के दौरान हाथ से बुनी हुईं लगभग 260 साड़ियों को बेचकर केरल बाढ़ पीड़ितों के लिए करीब 1.5 लाख रुपये जुटाए गए. भारतीय कला, संस्कृति और विरासत के एक डिजिटल विश्वकोष सहपीडिया द्वारा आयोजित वार्षिक विशिष्ट साड़ी सेल और नीलामी शुक्रवार शाम 5 से 7 बजे हुई.
आईएएनएस के मुताबिक, सहपीडिया की परियोजना निदेशक नेहा पालीवाल ने बताया कि 260 साड़ियों में हमने लगभग 230 साड़ियां बेच लीं. इससे 1.5 लाख से कुछ ज्यादा रुपये आए.
उन्होंने कहा, नीलामी में सबसे महंगी साड़ी 10,500 रुपये में बिकी. साड़ी पर आंध्र प्रदेश की प्रसिद्ध कारीगरी (इकत) थी. सहपीडिया ने कहा कि नीलामी में ज्यादातर साड़ियों की कीमत 200 रुपये से 800 रुपये के बीच थी. नीलामी से मिले रुपये केरल के मुख्यमंत्री आपदा राहत कोष में दान किए जाएंगे.
केरल पिछले महीने आई बाढ़ के बाद फिलहाल उसी के प्रभाव से गुजर रहा है. सहपीडिया ने कहा था कि तीसरे वर्ष हो रही साड़ी सेल का उद्देश्य भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को आम आदमी के लिए और सुगम करना है. दो घंटों की सेल में ज्यादातर साड़ियां बिक गईं. बची हुईं साड़ियां गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) गूंज को दान की जाएंगी.