Advertisement

रामलला की प्रतिमा बनाने वाले अरुण योगीराज को मिला 'मीठा' तोहफा, देखें कितना है खूबसूरत

ayodhya ram mandir: राम मंदिर में 22 जनवरी को प्राण प्रतिष्ठा समारोह का आयोजन किया जा रहा है. जिसके लिए यहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत देश की कई बड़ी हस्तियां पहुंचेंगी.

मूर्तिकार अरुण योगीराज के लिए भेजा गया तोहफा मूर्तिकार अरुण योगीराज के लिए भेजा गया तोहफा
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 21 जनवरी 2024,
  • अपडेटेड 5:57 PM IST

अयोध्या राम मंदिर के लिए रामलला की प्रतिमा बनाने वाले अरुण योगीराज की हर कोई तारीफ कर रहा है. लोग उनकी कला के मुरीद हो गए हैं. उन्हें मैसूर की एक दुकान से खास तोहफा भेजा गया है. राम मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा को अब बस एक दिन बचा है. यहां 22 जनवरी को प्राण प्रतिष्ठा समारोह का आयोजन किया जा रहा है. जिसके लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत देश की कई बड़ी हस्तियां शिरकत करेंगी. 

Advertisement

वहीं राम मंदिर के अभिषेक समारोह से पहले अनुष्ठान के हिस्से के रूप में रामलला की मूर्ति को गर्भगृह के अंदर स्थापित किया गया है. इस प्रतिष्ठित कार्यक्रम से पहले, मैसूर की मशहूर दुकान श्री महालक्ष्मी स्वीट्स ने अरुण योगीराज और उनके परिवार को विभिन्न प्रकार की मिठाइयों से बनी राम मंदिर की प्रतिकृति भेंट की है. इसकी तस्वीर काफी वायरल हो रही है. बीजेपी के दिग्गज नेता और कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने 2 जनवरी को एक पोस्ट में अरुण योगीराज द्वारा बनाई गई रामलला की मूर्ति के चयन की घोषणा की थी.

मिठाइयों से बनी राम मंदिर की प्रतिकृति

उन्होंने अपने पोस्ट में लिखा था, 'मैसूर के मूर्तिकार अरुण योगीराज द्वारा बनाई गई भगवान राम की मूर्ति को अयोध्या के भव्य श्री राम मंदिर में स्थापना के लिए चुना गया है, जिससे राज्य के सभी राम भक्तों का गौरव और खुशी दोगुनी हो गई है. 'शिल्पी योगीराज अरुण' को हार्दिक बधाई.' रामलला की मूर्ति को बनाने के दौरान आने वाली चुनौतियों के बारे में समाचार एजेंसी पीटीआई से बात करते हुए अरुण योगीराज ने इस महीने की शुरुआत में कहा था, 'मूर्ति एक बच्चे की होनी चाहिए थी, जो कि दिव्य हो, क्योंकि यह भगवान के अवतार की मूर्ति है. ताकि लोग प्रतिमा को देखकर दिव्यता का अनुभव कर सकें.'

Advertisement

उन्होंने कहा था, 'बच्चे जैसे चेहरे के साथ-साथ दिव्य पहलू को ध्यान में रखते हुए, मैंने लगभग छह से सात महीने पहले अपना काम शुरू किया था. अब मैं बेहद खुश हूं.' कर्नाटक के मूर्तिकार अरुण योगीराज ने आदि शंकराचार्य की मूर्ति भी बनाई थी, जिसे केदारनाथ में रखा गया है और उन्होंने सुभाष चंद्र बोस की मूर्ति भी बनाई थी, जिसे दिल्ली में इंडिया गेट के पास स्थापित किया गया है.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement