
उत्तर प्रदेश के कानपुर देहात के मड़ौली गांव में 13 फरवरी को हुई मां-बेटी की मौत के मामले में समाजवादी पार्टी (सपा) ने अपने टि्वटर हैंडल से पीड़ित परिवार के बेटे शिवम का 14 जनवरी का उस समय का एक वीडियो ट्वीट किया है, जिसमें वह कड़कड़ाती ठंड अपने कपड़े उतारते हुए दिख रहा है. यह वीडियो जिलाधिकारी कार्यालय का है.
इस पर शिवम का आरोप है कि जब वह 14 जनवरी को जिलाधिकारी कार्यालय अपनी गुहार लगाने पहुंचा था तो एडीएम के कहने पर उसके कपड़े उतरवाए गए. हालांकि इस मामले में एडीएम का कहना है जो आरोप लगाए जा रहे हैं वह गलत है... यह कुछ ही क्लिप है... पूरी क्लिप देखेंगे, तब पूरा मामला समझ में आएगा.
बताते चलें कि 13 फरवरी को मड़ौली गांव में मैथा तहसील प्रशासन कृष्ण गोपाल के यहां अतिक्रमण हटाने पहुंचा था. उसी दौरान झोपड़ी हटाने के दौरान पीड़ित परिवारों तहसील प्रशासन में नोकझोंक हुई थी. झोपड़ी हटाते समय पीड़ित परिवार की मां-बेटी की जलकर मौत हो गई थी. इस मामले की जांच के लिए शासन द्वारा दो एसआईटी टीम गठित की गई है.
अब इस मामले विपक्षी पार्टियां भी सरकार को बुलडोजर के नाम पर घेरने की कोशिश कर रही हैं और उन पर सवालिया निशान खड़ा कर रही हैं. समाजवादी पार्टी (सपा) ने भी सरकार को पूरी तरीके से घेरने की कोशिश की है. सपा के टि्वटर हैंडल से 14 जनवरी का एक वीडियो ट्वीट किया गया है, जिसमें डीएम ऑफिस में शिवम अपने कपड़े उतारता हुआ दिखाई दे रहा है.
समाजवादी पार्टी ने वीडियो पोस्ट करते हुए अपने ट्विटर हैंडल पर लिखा, 'कानपुर देहात में मां बेटी के जान गवाने से पहले से प्रशासन कर रहा था परिवार का शोषण. मृतका के बेटे को बीती 14 जनवरी को कड़कती ठंड में कपड़े उतरवाकर जीप में बैठाया गया था. शर्मनाक. आरोपी डीएम, एसडीएम और अन्य अधिकारियों पर कब चलेगा बुलडोजर?'
इस पूरे मामले में शिवम का कहना है कि जब वह पूरे परिवार के साथ 14 जनवरी की रात में जिलाधिकारी कार्यालय पहुंचा था, तभी वहां पर मौजूद एडीएम-एसडीएम और पुलिस के अन्य अधिकारी मौजूद थे, एडीएम ने कपड़े उतारने के लिए कहा था. वहीं शिवम का यह भी कहना है कि उसको जो आश्वासन दिया गया था, वह भी अभी तक पूरा नहीं हुआ.
शिवम का आरोप है कि न आर्थिक मदद मिला और न ही मुख्यमंत्री से मुलाकात कराई गई, साथ ही जो कार्रवाई हो रही है... वह बहुत ही ढीले स्तर पर हो रही है, उस पर भी वह संतुष्ट नहीं है.
वहीं जिलाधिकारी कार्यालय में पीड़ित शिवम दीक्षित के कपड़े उतारने के मामले में जब एडीएम प्रशासन केदारनाथ का कहना था कि आरोप में बिल्कुल सत्यता नहीं है ,वह लोग स्वयं आकर कपड़े उतार रहे थे और धमकी दे रहे थे, यह क्षण भर का क्लिप है, अगर पूरी क्लिप देखेंगे तो पूरा मामला समझ में आएगा.'