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बलवंत हत्याकांड: कोर्ट ने फरार तीन पुलिसकर्मियों के खिलाफ जारी किया गैर जमानती वारंट

कानपुर देहात में पुलिस कस्टडी में हुई बलवंत सिंह की मौत के मामले में कोर्ट ने फरार 3 पुलिसकर्मियों के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया है. इससे पहले बलंवत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट सामने आई थी जिसमें मृतक के सिर से लेकर पैर तक 31 चोट के निशान पाए गए. बता दें, 5 पुलिसकर्मी हत्या के आरोप में पहले से जेल में बंद हैं.

मृतक बलवंत सिंह (फाइल फोटो) मृतक बलवंत सिंह (फाइल फोटो)
सूरज सिंह
  • कानपुर देहात,
  • 24 दिसंबर 2022,
  • अपडेटेड 11:55 AM IST

उत्तर प्रदेश के कानपुर देहात में पुलिस कस्टडी में हुई बलवंत सिंह की मौत के मामले में कोर्ट ने फरार 3 पुलिसकर्मियों के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया है. जिनके खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया गया है उनमें मैथा चौकी इंचार्ज ज्ञान प्रकाश पांडेय, हेड कांस्टेबल विनोद कुमार और सिपाही प्रशांत पांडेय शामिल हैं.

बता दें, इससे पहले बलंवत की पोस्टमार्टम रिपोर्ट सामने आई थी. पोस्टमार्टम रिपोर्ट में मृतक बलवंत के सिर से लेकर पैर तक 31 चोट के निशान पाए गए. लेकिन रिपोर्ट में मौत की वजह स्पष्ट नहीं की गई. वहीं, विसरा रिपोर्ट को सुरक्षित रखा गया है.

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दरअसल, शिवली कोतवाली क्षेत्र के लालपुर सरैया गांव निवासी बलवंत सिंह को कानपुर देहात की पुलिस ने 12 दिसंबर की दोपहर को चाचा चंद्रभान से लूट के शक में उठाया था. और पूछताछ के लिए थाने ले गई थी. वहीं, परिजनों का आरोप था की रनिया थाने ले जाकर पुलिस ने बलवंत की इस कदर पिटाई की कि उसने थाने में ही दम तोड़ दिया.

फिर 12 दिसंबर को देर रात पोस्टमॉर्टम हाउस में परिजनों के हंगामा करने पर एसपी सुनीति ने तत्काल 11 पुलिसवालों को निलंबित कर दिया. परिजनों की मांग थी कि आरोपी पुलिसवालों के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज किया जाए. साथ ही मृतक के शव का पोस्टमार्टम कानपुर देहात में नहीं बल्कि कानपुर नगर में करवाया जाए.

फिर 13 दिसंबर की दोपहर को 5 पुलिस वालों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज करके गिरफ्तार कर लिया. उन्हें कोर्ट में पेश करके जेल भेज दिया गया. वहीं, इसके बाद मामले में तीन अन्य पुलिसकर्मियों के खिलाफ भी हत्या का मामला दर्ज किया गया है जो कि फरार चल रहे हैं. फरार तीनों पुलिसकर्मियों के खिलाफ कोर्ट ने गैरजमानती वारंट जारी किया है.

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पूर्व सीएम अखिलेश यादव मृतक के परिजनों से मिले
उधर, बलवंत की मौत अब राजनीतिक मुद्दा भी बन गई है. क्योंकि पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव भी 19 दिसंबर को मृतक के घर पहुंचे थे और परिवार की हर सम्भव मदद करने का आश्वासन दिया था.

5 पुलिसकर्मी जेल में बंद
बता दें, मामले में एसओजी प्रभारी प्रशांत गौतम, शिवली थाना अध्यक्ष राजेश कुमार सिंह और अन्य तीन सिपाही अनूप कुमार, सोनू यादव एवं दुर्वेश कुमार जेल में बंद हैं. मामले की जांच अभी भी जारी है. इस पूरे मामले में पुलिस की तरफ से कहा गया था कि बलवंत के सीने में दर्द होने की वजह से उसकी मौत हुई है. लेकिन जिस तरीके से पोस्टमार्टम रिपोर्ट सामने आई है उसमें 31 चोटें एक-एक करके दर्शाई गई हैं, जिसको देखने पर लग रहा है कि बलवंत की पिटाई से ही मौत हुई है. हालांकि, इस बात की अभी पुष्टि नहीं हो पाई है.

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