उत्तर प्रदेश की कानपुर पुलिस ने बाराबंकी के डीएम शशांक त्रिपाठी के पिता का शांति भंग में चालान काट दिया. अब डीएम के पिता एसएन त्रिपाठी पुलिस अधिकारियों के चक्कर काट रहे हैं. बुजुर्ग कानपुर पुलिस की कार्रवाई से काफी आहत हैं और उनका कहना है कि इससे उनके आत्मसम्मान को चोट पहुंची है. बकौल त्रिपाठी- जिस मामले में पुलिस ने उनका शांतिभंग में चालान किया है, उस समय वह वहां थे ही नहीं.
दरअसल, पूरा मामला कानपुर के कल्याणपुर का है जहां एसएन त्रिपाठी अपने परिवार के साथ रहते हैं. वह रिटायर्ड टीचर हैं. उनके बेटे शशांक त्रिपाठी आईएएस अधिकारी हैं और फिलहाल बाराबंकी जिले में डीएम के पद पर तैनात हैं. इससे पहले वह सीएम के विशेष सचिव भी रह चुके हैं.
आपको बता दें कि कानपुर में एक मंदिर को लेकर विवाद चल रहा है. इसी विवाद में कानपुर पुलिस ने डीएम के बुजुर्ग पिता एसएन त्रिपाठी के खिलाफ कार्रवाई कर दी और शांति भंग में उनका चालान काट दिया. वहीं, एसएन त्रिपाठी का कहना है कि जबरन उनका नाम इस मामले में घसीटा जा रहा है.
बताया जा रहा है कि कल्याणपुर इलाके में एक मंदिर बना है, जिसको लेकर 2 समितियां अपना दावा करती हैं. इसी बीच फरवरी में दान पत्र को लेकर विवाद हुआ था. पुलिस के कहने पर दान पत्र खोला गया था. जिस समय मंदिर का दान पात्र खुल रहा था, तभी दूसरा पक्ष वहां आ गया और विवाद बढ़ गया और केस थाने तक पहुंच गया.
एसएन त्रिपाठी का कहना है कि कानपुर पुलिस ने एक पक्ष की बात सुनकर रिपोर्ट दर्ज की. इस दौरान पुलिस ने उनका नाम भी केस में डाल दिया और उनका चालान कर दिया. त्रिपाठी के मुताबिक, जिस समय ये विवाद हुआ, वो वहां नहीं थे. पुलिसवालों ने अपने हाथ से एप्लीकेशन में उनका नाम लिख दिया.
एसएन त्रिपाठी की मानें तो एप्लीकेशन में 5 नाम टाइप किए गए हैं. मगर सिर्फ उनका नाम ही हाथ से लिखा हुआ है. पुलिस सीसीटीवी कैमरे भी चेक कर सकती है. बिना सुनवाई पुलिस ने 151 में उनका खिलाफ शांतिभंग में चालान काट दिया. इस कार्रवाई के बाद उन्हें अपनी जमानत करवानी पड़ रही है. पुलिस अधिकारियों से मुलाकात की है मगर आश्वासन के अलावा कुछ नहीं मिल रहा.
वहीं, इस पूरे मामले को लेकर एसीपी अभिषेक पांडे ने बताया, अगर गलत नाम लिखा गया है तो मामले की जांच की जाएगी. लापरवाही पर कार्रवाई की जाएगी. फिलहाल, मौके पर शांति-व्यवस्था कायम है. जांच-पड़ताल जारी है.
रंजय सिंह