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लखनऊ के सरकारी रिहैब सेंटर में 4 बच्चों की मौत, 20 बीमार... CM योगी पहुंचे अस्पताल, जाना मासूमों का हाल

सीएम योगी लोक बंधु राज नारायण संयुक्त अस्पताल पहुंचे और आश्रय गृह के बीमार बच्चों से मिले, जिनका अभी इलाज चल रहा है. वरिष्ठ अधिकारियों और डॉक्टरों के साथ सीएम ने बच्चों से बातचीत भी की. उन्होंने बच्चों की स्थिति का जायजा लिया और डॉक्टरों को समुचित इलाज का निर्देश दिया.

बीमार बच्चों का हाल चाल लेते सीएम योगी बीमार बच्चों का हाल चाल लेते सीएम योगी
aajtak.in
  • लखनऊ ,
  • 28 मार्च 2025,
  • अपडेटेड 1:22 PM IST

यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को लखनऊ के सरकारी रिहैब सेंटर में बीमार हुए बच्चों से अस्पताल जाकर मुलाकात की. अधिकारियों ने बताया कि बीते दिनों इस सेंटर में चार बच्चों की मौत हो गई थी और एक दर्जन से अधिक अन्य बीमार हो गए थे. संभवतः दूषित पानी पीने से यह घटना हुई. 

इस बीच आज सीएम योगी लोक बंधु राज नारायण संयुक्त अस्पताल पहुंचे और आश्रय गृह के बीमार बच्चों से मिले, जिनका अभी इलाज चल रहा है. वरिष्ठ अधिकारियों और डॉक्टरों के साथ सीएम ने बच्चों से भी बातचीत की. उन्होंने बच्चों की स्थिति का जायजा लिया और डॉक्टरों को समुचित इलाज का निर्देश दिया. उपमुख्यमंत्री और स्वास्थ्य मंत्री ब्रजेश पाठक ने गुरुवार को अस्पताल का दौरा किया था, जहां करीब 16 बच्चों का इलाज चल रहा था. 

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आपको बता दें कि लखनऊ के पारा इलाके में स्थित निर्वाण राजकीय बाल गृह में 147 बच्चे रहते हैं, जिनमें मुख्य रूप से अनाथ और मानसिक रूप से विकलांग बच्चे शामिल हैं. केंद्र में विशेष आवश्यकता वाले 20 से अधिक बच्चे दूषित पानी पीने से बीमार हो गए और उन्हें मंगलवार शाम को अस्पताल भेजा गया. 

मामले में लखनऊ के जिला मजिस्ट्रेट विशाक जी ने गुरुवार को पीटीआई को बताया कि चार बच्चों- दो लड़कियों और दो लड़कों की मौत हो गई है, जिनकी उम्र 12 से 17 साल के बीच है. उनके शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है और आगे की जांच के लिए विसरा सुरक्षित रखा जाएगा. 

गुरुवार को लखनऊ के संभागीय आयुक्त रोशन जैकब ने कहा कि दूषित पानी पीने से बच्चे बीमार हो सकते हैं. जिला प्रशासन ने घटना की जांच शुरू कर दी है. फिलहाल, अस्पताल में भर्ती बीमार बच्चों की हर संभव मदद की जा रही है. 

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उधर, जिला मजिस्ट्रेट ने कथित फूड पॉयजनिंग के कारण का पता लगाने के लिए एक समिति का गठन किया है. जांच के लिए पुनर्वास केंद्र से खाने के सैंपल जुटाए गए हैं. घटना की जांच के लिए नगर निगम तथा फूड विभाग की टीम को भी लगाया गया है तथा इस बात की भी जांच की जाएगी की घटना कि जानकारी केंद्र ने सही समय पर हॉस्पिटल को दी कि नहीं.

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