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कभी UP में था दबदबा, अब व्हीलचेयर पर नंगे पांव बैठा दिखा माफिया मुख्तार अंसारी... वीडियो वायरल

बांदा जेल से मुख्तार को अस्पताल ले जाने का वीडियो सामने आया है. जहां माफिया डॉन व्हीलचेयर नंगे पैर असहाय बैठा दिख रहा है. बताया जा रहा है कि पंजाब के रोपड़ जेल से आने के बाद माफिया व्हीलचेयर में नहीं बैठता था. वह सिर्फ पेशी पर जाने के लिए बीमारी का बहाना बनाकर व्हीलचेयर का इस्तेमाल करता था.

व्हीलचेयर पर बैठा दिखा मुख्तार अंसारी व्हीलचेयर पर बैठा दिखा मुख्तार अंसारी
सिद्धार्थ गुप्ता
  • बांदा ,
  • 27 मार्च 2024,
  • अपडेटेड 11:05 PM IST

एक समय था जब माफ‍िया मुख्तार अंसारी जलवा पूरे उत्तर प्रदेश में हुआ करता था. उसकी ताकत के सामने बड़े-बड़े नेता झुकते थे. जेल में रहकर भी वो अपना सिक्का चलाता था. बादशाहत तो उसकी ऐसी थी कि ताजी मछलियां खाने के लिए उसने जेल में तालाब तक खुदवा दिया था. लेकिन अब उसका वो रुतबा पूरी तरह से खत्म हो चुका. मुख्तार तन्हाइयों में जेल की सलाखों के पीछे एक-एक दिन बड़ी मुश्किल से काट रहा है. न परिवार से मिल पाता न किसी चीज की डिमांड कर पाता है. अस्पताल से मुख्तार को जेल ले जाने का वीडियो सामने आया है. जहां माफिया डॉन व्हीलचेयर नंगे पैर असहाय बैठा दिखाई दे रहा है.  

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बताया जा रहा है कि पंजाब के रोपड़ जेल से आने के बाद माफिया व्हीलचेयर में नहीं बैठता था. वह सिर्फ पेशी पर जाने के लिए बीमारी का बहाना बनाकर व्हीलचेयर का इस्तेमाल करता था. मंगलवार 26 मार्च को जब वह बीमार हुआ तो वह सिर नीचे किए व्हीलचेयर पर बैठा दिखाई दिया. उसने कोर्ट में खाने में स्लो जहर देने का आरोप लगाया था. 

व्हीलचेयर पर बैठा नजर आया मुख्तार अंसारी

अतीक हत्याकांड के बाद से मुख्तार अंसारी ज्यादा परेशान है, वह पेशी के दौरान कई जिलों की कोर्ट में सुरक्षा, जान का खतरे के साथ साथ बीमारी का हवाला देते है, साथ ही दूसरी जेल में शिफ्ट करने की डिमांड करता है.

पंजाब के रोपड़ जेल से अप्रैल 2021 में बांदा जेल लाया गया था, जब से वह यही कैद है. जेल अधीक्षक वीरेश राज शर्मा भी बता चुके हैं कि हम जेल में हर बंदी को जेल मैनुअल के अनुसार व्यवस्थाएं देते हैं, जो सरकार या कोर्ट का आदेश होता उसका पूर्ण पालन किया जाता है. सीसीटीवी से लगाकर सुरक्षा के जवानों से सुरक्षा व्यवस्था दुरुस्त की जाती है. 

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खाने में स्लो पॉइजन देने लगाया था आरोप

मैं खुद निगरानी करता हूं. खाने में स्लो जहर देने के आरोप में भी अपना बयान दे चुके हैं, उन्होंने बताया था कि ऐसा सम्भव नहीं है, मुख्तार को खाना देने के पहले उसको एक सिपाही और एक डिप्टी जेलर चखता है, फिर उसको दिया जाता है, वह रोजे से है, अचानक खाना खाने से उसको ओवेरफीडिंग की समस्या होती है, जिस कारण वह परेशान रहता है.

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