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Ayodhya: थाईलैंड, मलेशिया से आए फूलों से सजेंगे रामलला, रामनवमी पर होंगे विशेष दर्शन

राम नवमी पर रामलला के मंदिर और अयोध्या की फूलों से भव्य सजावट की जाएगी. इसके लिए थाईलैंड से ऑर्किड, एनथेरियम, मलेशिया से एलकोनिया, कोलकाता से रजनीगंधा, गेंदा, दिल्ली से गुलाब के फूल पहुंच चुके हैं. साथ ही सूर्य तिलक की अद्भुत घटना भी लोगों का मन मोह लेगी. माना जा रहा है कि इस बार लाखों राम भक्त अयोध्या पहुंचेंगे.

सूर्य तिलक का कुछ ऐसा होगा नजारा (बाएं). दूसरी तरफ फ्लावर डेकरेटर रवि पांडे ने बताया कैसे सजेगा मंदिर. सूर्य तिलक का कुछ ऐसा होगा नजारा (बाएं). दूसरी तरफ फ्लावर डेकरेटर रवि पांडे ने बताया कैसे सजेगा मंदिर.
शिल्पी सेन
  • अयोध्या,
  • 16 अप्रैल 2024,
  • अपडेटेड 5:51 PM IST

थाईलैंड से ऑर्किड, एनथेरियम, मलेशिया से एलकोनिया, कोलकाता से रजनीगंधा, गेंदा, दिल्ली से गुलाब... राम नवमी पर रामलला के मंदिर और अयोध्या की फूलों से भव्य सजावट की जाएगी. देश विदेश से फूल मंगवाए गए हैं. करीब 350 कारीगर रात-दिन सजावट के काम में लगे हैं.

दर्शनार्थियों के स्वागत के लिए फूलों के द्वार बनाए जा रहे हैं. गर्मी बहुत ज्यादा होने की वजह से इसका खास ध्यान रखा जा रहा है. प्राण प्रतिष्ठा के मौके पर फूलों की सजावट को बहुत ज्यादा पसंद किया गया था. उसी तरह इस बार भी सजावट की जा रही है. जन्मभूमि पथ पर यात्री सुविधा केंद्र पर देश-विदेश से लाए गए फूलों को सजावट के लिए रखा गया है. 

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यह भी पढ़ें- रामलला के दर्शन के लिए तीन दिन 20 घंटे खुला रहेगा मंदिर, 40 लाख श्रद्धालुओं के पहुंचने का अनुमान

फ्लावर डेकोरेटर रवि पांडे ने बताया कि कल 17 अप्रैल को रामनवमी है. करीब 500 साल के इंतजार के बाद बने भव्य मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा के बाद राम जन्म का पहली बार अनुष्ठान होगा. इससे पहले आज अष्टमी पर राम की कुलदेवी बड़ी देवकाली मंदिर में भक्तों को सैलाब उमड़ा है.

वह कहते हैं राम जन्म के बाद माता कौशल्या सबसे पहले राम को लेकर यहीं दर्शन कराने आयी थीं. राम ने वन जाने से पहले और लंका विजय के बाद अयोध्या लौटने पर राम ने यहां अपनी कुलदेवी की पूजा की थी. मंदिर की स्थापना राम के पूर्वज महाराज रघु ने की थी. यहां एक ही शिला पर महाकाली, महा लक्ष्मी और महा सरस्वती के दर्शन होते हैं.

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इस बार रामलला का सूर्य तिलक होगा बेहद खास 

मंदिर के अर्चक धनंजय पाठक ने बताया कि भव्य मंदिर में पहली बार राम का प्रतीकात्मक जन्म होगा, तो उसके बाद रामलला का सूर्यतिलक भी किया जाएगा. सेंट्रल बिल्डिंग रीसर्च इन्स्टिटूट (CBRI) रुड़की के वैज्ञानिकों के सहयोग से लगे उपकरण-दर्पण, लेंस और धातु की पाइप से ये किया जाएगा. यहां पढ़ें सूर्य तिलक की पूरी खबर...

सूर्यतिलक देखने के लिए लोगों में उत्साह है. लोगों का कहना है कि ये अवसर विशेष है. दर्शनार्थियों का कहना है कि ये आध्यत्म और विज्ञान का संयोग है. सूर्याभिषेक को लेकर लोगों में जबरदस्त उत्साह है. राम नवमी लाखों रामभक्तों के यहां आने की उम्मीद है. यहां आने वाले रामभक्तों के लिए यात्री सुविधा केंद्र की शुरुआत की गई है. 

एक साथ 10 हजार लोग लॉकर में रख सकेंगे सामान 

इसमें राम मंदिर के बारे में जानकारी, पास जारी करने, लोगों के बैठने और विश्राम की व्यवस्था है. एक साथ 10 हजार लोग लॉकर में अपने कीमती सामान को रखकर दर्शन के लिए जा सकते हैं. यहां कर्मचारियों ने बताया कि राम नवमी पर उनकी ड्यूटी 19 घंटे तक रहेगी.
 

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