Advertisement

UP: ट्रेन हादसे में दोनों पैर गंवाने वाले युवक को मिला 51 लाख रुपये का बीमा क्लेम

अगरा के प्रांजल गुप्ता ने ट्रेन हादसे में दोनों पैर गंवाने के बाद छह साल तक कानूनी लड़ाई लड़ी और अंततः 51 लाख रुपये का बीमा क्लेम प्राप्त किया. नीवा बूपा इंश्योरेंस ने पहले उनका दावा खारिज कर दिया था, लेकिन जिला उपभोक्ता आयोग ने कंपनी को राशि चुकाने और 6% ब्याज देने का आदेश दिया.

AI जेनरेटेड (सांकेतिक तस्वीर). AI जेनरेटेड (सांकेतिक तस्वीर).
aajtak.in
  • आगरा,
  • 21 मार्च 2025,
  • अपडेटेड 7:40 PM IST

उत्तर प्रदेश के आगरा में रहने वाले एक युवक को 51 लाख रुपए का बीमा क्लेम मिला है. छह साल पहले ट्रेन दुर्घटना में उसके दोनों पैर चले गए थे. जिला उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग ने बीमा कंपनी द्वारा क्लेम खारिज किए जाने को गलत करार देते हुए यह फैसला सुनाया. साथ ही बीमा राशि पर 6 प्रतिशत वार्षिक ब्याज देने का निर्देश दिया है.
 
जानकारी के मुताबिक, अगरा के रहने वाले प्रांजल गुप्ता 27 दिसंबर 2019 को कालिंदी एक्सप्रेस ट्रेन से हाथरस जंक्शन के पास गिर गए. इस हादसे में उनके दोनों पैरों में गंभीर चोट आई. इलाज के दौरान सेप्सिस (रक्त संक्रमण) फैलने के कारण डॉक्टरों को घुटनों के नीचे से दोनों पैर काटने पड़े. हादसे के समय प्रांजल गुप्ता के पास 'नीवा बूपा हेल्थ इंश्योरेंस' (पूर्व में मैक्स बूपा) की सक्रिय पॉलिसी थी.

Advertisement

यह भी पढ़ें: आगरा एक्सप्रेसवे पर बस से टकराकर टैंकर में हुआ लीकेज, सड़क पर बहने लगा रिफाइंड तेल, घायलों की मदद छोड़ बर्तन लेकर दौड़ी भीड़!

बीमा कंपनी ने दावे को क्यों किया खारिज?

यह पॉलिसी 29 मार्च 2019 को खरीदी गई थी और 28 मार्च 2020 तक वैध थी. दुर्घटना के बाद जब उन्होंने बीमा क्लेम के लिए आवेदन किया, तो बीमा कंपनी ने इसे विभिन्न आधारों पर खारिज कर दिया.

उपभोक्ता आयोग का फैसला

प्रांजल गुप्ता के वकील कैम सिंह के अनुसार, जिला उपभोक्ता विवाद निवारण आयोग ने हाल ही में इस मामले पर सुनवाई की. आयोग के अध्यक्ष सर्वेश कुमार और सदस्य राजीव सिंह ने नीवा बूपा इंश्योरेंस को 51 लाख रुपये का भुगतान करने और इस राशि पर 6 प्रतिशत वार्षिक ब्याज देने का आदेश दिया. आखिरकार छह साल की कानूनी लड़ाई के बाद प्रांजल गुप्ता को न्याय मिला.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement