
ट्विटर के कई राजफाश करने वाले व्हिसलब्लोअर और कंपनी के पूर्व सुरक्षा प्रमुख पीटर एम जेटको ने मंगलवार को कई और खुलासे किए. इस दौरान उन्होंने दावा किया कि ट्विटर जनता, सांसदों और नियामकों को गुमराह कर रहा है. यह सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म कमजोर साइबर सुरक्षा, प्राइवेसी के खतरों और लाखों फर्जी खातों को नियंत्रित करने की असमर्थता से जूझ रहा है. दरअसल, जेटको अमेरिकी संसद में सीनेट की न्यायिक समिति के समक्ष आरोपों पर अपनी गवाही देने के लिए पेश हुए थे.
एक न्यूज रिपोर्ट के अनुसार जेटको ने आरोप लगाया है कि कंपनी में कम से कम एक चीनी एजेंट काम कर रहा है. चीनी सरकार ने अपनी खुफिया एजेंसी के कम से कम एक एजेंट को ट्विटर कर्मचारी के रूप में शामिल किया हुआ है. दावा किया गया कि ट्विटर से साइबर सुरक्षा से जुड़े खतरे हो सकते हैं. चीन से संबंधित ट्विटर कर्मचारी कभी भी यूजर का डेटा एकत्र कर सकता है.
बता दें कि जेटको ने ये गंभीर ऐसे वक्त में किए हैं जब टेस्ला के मालिक एलन मस्क और ट्विटर के बीच 44 अरब डॉलर की डील को लेकर कोर्ट में अगले महीने सुनवाई होनी है. जानकारों का कहना है कि व्हिसलब्लोअर के इन गंभीर दावों से ये सुनवाई प्रभावित भी हो सकती है.
मस्क ने भी व्हिसलब्लोअर को बताया था वजह
गौरतलब है कि हाल ही में एक रिपोर्ट आई थी, जिसमें दावा किया गया था कि ट्विटर को खऱीदने की डील को कैंसल करने के पीछे एलन मस्क ने पीटर जेटको का जिक्र किया था.रिपोर्ट में मस्क के वकीलों के हवाले से कहा गया कि व्हिसलब्लोअर और उनके वकीलों को 7.75 मिलियन डॉलर का भुगतान किया गया था और इस भुगतान के लिए ट्विटर ने मस्क की सहमति नहीं ली थी, जो साफतौर पर मर्जर एग्रीमेंट का उल्लंघन हुआ है. हालांकि, इस मामले पर ट्विटर की ओर से कोई आधिकारिक टिप्पणी नहीं की गई.