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ट्रंप की बढ़ी मुश्किलें! जानिए रिसॉर्ट में फॉरेन न्यूक्लियर डॉक्यूमेंट्स समेत और क्या मिले

एफबीआई ने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के रिसॉर्ट मार-ए-लागो पर पिछले महीने छापेमारी की थी. इस छापेमारी में एफबीआई को कई गोपनीय दस्तावेज मिले हैं. वॉशिंगटन पोस्ट की रिपोर्ट में इस मामले की जानकारी रखने वाले लोगों के हवाले से बताया गया कि इन गोपनीय दस्तावेजों में परमाणु हथियारों से जुड़े गोपनीय दस्तावेज भी हैं.

अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 07 सितंबर 2022,
  • अपडेटेड 11:35 AM IST

एफबीआई ने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फ्लोरिडा स्थित मार-ए-लागो रिसॉर्ट पर बीत महीने छापेमारी की थी, जिससे ट्रंप की मुश्किलें और बढ़ने वाली हैं. अब खुलासा हुआ है कि इस छापेमारी में ट्रंप के आवास से फॉरेन न्यूक्लियर डॉक्यूमेंट्स (Nuclear Documents) सहित कई गोपनीय दस्तावेज जब्त किए गए हैं. इन दस्तावेजों के मिलने से एफबीआई सहित पूरा अमेरिकी खुफिया सिस्टम स्तब्ध है. 

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ट्रंप के ठिकाने पर एफबीआई ने यह छापेमारी आठ अगस्त को की थी. इस दौरान एफबीआई ने गोपनीय दस्तावेजों के 33 बक्से अपने कब्जे में लिए थे. एफबीआई ने जो गोपनीय दस्तावेज जब्त किए थे, उनमें से कुछ चौंकाने वाले दस्तावेज है. वॉशिंगटन पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक, ट्रंप के इस आलीशान आवास की छापेमारी में एफबीआई एजेंट्स को खाली फोल्डर्स भी मिले हैं, जिन्हें गोपनीय (Classified) दस्तावेजों के तौर पर चिन्हित किया गया था.

रिपोर्ट में इस मामले से अवगत लोगों के हवाले से बताया गया, पिछले महीने पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के आवास की तलाशी लेने वाले एफबीआई एजेंट्स को एक विदेशी सरकार की सैन्य सुरक्षा से जुड़ा एक दस्तावेज भी मिला, जिसमें उनके परमाणु हथियारों की जानकारी थी. इससे अमेरिका की खुफिया एजेंसी में खलबली मच गई है कि इस तरह के गोपनीय दस्तावेज ट्रंप के फ्लोरिडा स्थित आवास में क्या कर रहे थे.

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इस छापेमारी की जानकारी रखने वाले कुछ लोगों ने पहचान उजागर नहीं करने की शर्त पर इस जांच को लेकर कई संवेदनशील जानकारियां साझा की. 

यह बताया गया कि ट्रंप के ठिकाने से जब्त किए गए कुछ दस्तावेजों में अमेरिकी ऑपरेशंस को लेकर अत्यंत गोपनीय जानकारी है, जिसे लेकर राष्ट्रीय सुरक्षा के वरिष्ठ अधिकारियों को भी अंधेरे में रखा गया. इस तरह के गोपनीय दस्तावेजों को हासिल करने के लिए सिर्फ राष्ट्रपति, उनकी कैबिनेट के कुछ सदस्य या कैबिनेट स्तर के अधिकारियों की मंजूरी जरूरी है.

इस तरह के सरकारी खुफिया कार्यक्रमों तक पहुंच बनाना आसान नहीं है. इस तरह के कार्यक्रमों का ब्योरा रखने वाले रिकॉर्ड टॉप सीक्रेट होते हैं और इनकी सुरक्षा अत्यंत कड़ी होती है. लेकिन इस तरह के खुफिया दस्तावेज ट्रंप के मार-ए-लागो से बरामद किए गए. चौंकाने वाली बात यह है कि ट्रंप को राष्ट्रपति पद छोड़े 18 महीने से ज्यादा हो गए हैं, तब उनके पास से इस तरह के गोपनीय दस्तावेज जब्त हुए हैं.

मार-ए-लागो के भीतर स्टोरेज रूम से मिले खुफिया दस्तावेज

कोर्ट फाइलिंग के मुताबिक, कई महीनों की मशक्कत के बाद एफबीआई को इस साल मार-ए-लागो से 300 से अधिक गोपनीय दस्तावेज मिले हैं. इनमें से दस्तावेजों से भरे 15 बक्से जनवरी में नेशनल आर्काइव्स एंड रिकॉर्ड्स एडमिनिस्ट्रेशन को भेजे गए. इनमें से कुछ दस्तावेजों को ट्रंप के वकील ने जून में खुद जांचकर्ताओं को सौपा. अदालत की मंजूरी के बाद आठ अगस्त को हुई छापेमारी में ट्रंप के ठिकाने से 100 से अधिक खुफिया दस्तावेजों का और पता चला.

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मामले से परिचित शख्स ने बताया, इन सरकारी खुफिया दस्तावेजों के आखिरी जत्थे में एक विदेशी सरकार के परमाणु हथियारों की जानकारी थी. इस मामले पर ट्रंप के प्रवक्ता ने कोई टिप्पणी नहीं की. न्याय विभाग और एफबीआई ने भी इस पर कुछ भी कहने से इनकार कर दिया है.

बता दें कि पिछले महीने ट्रंप के ठिकाने पर हुई एफबीआई की छापेमारी को लेकर उन्होंने उल्टे एफबीआई पर ही चोरी करने का आरोप लगाया था. उन्होंने एफबीआई पर उनके तीन पासपोर्ट गायब करने का संगीन आरोप लगाया था. 

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