
Nepal Plane Crash: नेपाल में क्रैश हुए तारा एयरलाइन के प्लेन के मलबे की तस्वीर सोमवार को सामने आई. तस्वीर आने के कुछ देर बाद नेपाली मीडिया ने दावा किया कि प्लेन में सवार सभी लोगों की मौत हो चुकी है. प्लेन का मलबा मुस्तांग इलाके के कोबन में मिला है. पहाड़ पर यहां-वहां बिखरे क्षत-विक्षत शवों को इकठ्ठा किया जा रहा है. स्थानीय लोग भी इस काम में सेना की मदद कर रहे हैं. ज्यादातर शवों की पहचान करना मुश्किल हो रहा है.
सोमवार सुबह 10:30 बजे तक 16 शवों को बरामद किया जा चुका है. बाकी 6 शवों को ढूंढा जा रहा है. पहाड़ की चोटी से टकराने के बाद करीब 100 मीटर के इलाके में शव और विमान का मलबा फैला हुआ है. एयरपोर्ट अथॉरिटी ने बताया कि विमान करीब 14,500 फीट की ऊंचाई पर टकराकर दुर्घटनाग्रस्त हुआ है.
यह प्लेन रविवार को हादसे का शिकार हुआ था. तारा एयरलाइन की फ्लाइट 9NAET नेपाल के पोखरा से जोमसोम जा रही थी. सुबह करीब 10 बजे अचानक फ्लाइट लापता हो गई थी.
दिनभर तलाश में ऑपरेशन चलाने के बाद शाम 4 बजे फ्लाइट क्रैश होने की खबर आई थी. प्लेन में क्रू मेंबर्स सहित करीब 22 लोग सवार थे. इनमें 4 यात्री भारत, 2 जर्मनी और 13 नेपाल के थे. फ्लाइट में चालक दल के 3 सदस्य भी थे. विमान 30 साल से अधिक पुराना था.
त्रिभुवन इंटरनेशनल एयरपोर्ट के चीफ ने बताया कि घटनास्थल पर जांच पड़ताल की जा रही है. नेपाल की सेना के प्रवक्ता नारायण सिलवाल ने बताया कि नेपाली सेना हवाई मार्ग के जरिए घटनास्थल पर पहुंच गई है. रेस्क्यू ऑपरेश चलाया जा रहा है.
हेलिकॉप्टर से की गई प्लेन की सर्चिंग, वीडियो
नेपाल के एक ही परिवार के 7 लोगों की मौत
प्लेन क्रैश में नेपाल के एक ही परिवार के 7 लोगों की मौत हो गई. इनके नाम धनुषा जिला मिथिला नगरपालिका निवासी राजन कुमार गोले, उनके पिता इन्द्र बहादुर गोले, मां राममाया तामाड, काका पुरुषोत्तम गोले, काकी तुलसा देवी तामाड, मामा मकर बहादुर तामाड और मामी सुकुमाया तामाड शामिल हैं. ये पूरा परिवार मुक्तिनाथ के दर्शन के लिए पोखरा से प्लेन में सवार हुआ था.
प्लेन में सवार भारतीय यात्री मुंबई के रहने वाले
क्रैश हुए प्लेन में सवार चारों भारतीय मुंबई के रहने वाले हैं. अधिकारियों ने बताया कि चारों लोग एक ही परिवार के हैं, जिनकी पहचान अशोक कुमार त्रिपाठी, धनुष त्रिपाठी, रितिका त्रिपाठी और वैभवी त्रिपाठी के रूप में हुई है.
ऐसे पूरी हुई विमान की तलाश
रविवार को हुए हादसे के बाद खराब मौसम के चलते रेस्क्यू ऑपरेशन चलाने में परेशानी आ रही थी. लेकिन इसके बाद भी नेपाली सेना के हेलिकॉप्टर ने क्रैश साइट को ढूंढ निकाला. माई रिपब्लिका अखबार के अनुसार, नेपाल सेना का एक हेलीकॉप्टर 10 सैनिकों और दो कर्मचारियों को लेकर नरशंग मठ के पास एक नदी के किनारे उतरा, जो दुर्घटना की संभावित जगह थी.