Advertisement

भारत ने लिया अजहर मसूद मामले पर चीन से बदला, उइगर लीडर को दिया वीजा

पाकिस्तानी आतंकी मसूद अजहर पर बैन की भारत की कोशिशों को नाकाम करने के बाद भारत-चीन के बीच तल्खी और बढ़ सकती है. चीन ने वर्ल्ड उइगर कांग्रेस (WUC) के लीडर डोल्कन ईसा को भारत की ओर से वीजा मिलने पर चिंता जताई है.

उइगर लीडर डोल्कन ईसा उइगर लीडर डोल्कन ईसा
संदीप कुमार सिंह
  • नई दिल्ली,
  • 23 अप्रैल 2016,
  • अपडेटेड 11:18 PM IST

पाकिस्तानी आतंकी मसूद अजहर पर बैन की भारत की कोशिशों को नाकाम करने के बाद भारत-चीन के बीच तल्खी और बढ़ सकती है. चीन ने वर्ल्ड उइगर कांग्रेस (WUC) के लीडर डोल्कन ईसा को भारत की ओर से वीजा मिलने पर चिंता जताई है. चीन ने कहा है कि ईसा आतंकवादी है. इंटरपोल ने उसके खिलाफ रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया है और यह सभी देशों की जिम्मेदारी है कि उसे पकड़ा जाए.

Advertisement

माना जा रहा है कि भारत ने यह दांव मसूद अजहर को यूएन से आतंकी घोषित करवाने में चीन के रोड़ा अटकाने के बदले में खेला है. उइगर लीडर्स पर शिंजियांग में टेररिज्म को बढ़ावा देने का है आरोप है. चीन की फॉरेन मिनिस्ट्री के स्पोक्सपर्सन हुआ शुनयिंग ने मीडिया से बातचीत में कहा- मैं ये कहना चाहता हूं कि डोल्कन चीनी पुलिस की नजर में एक आतंकवादी है. उसके खिलाफ इंटरपोल ने रेड कॉर्नर नोटिस जारी किया हुआ है.

प्रवक्ता से जब रिपोटर्स ने पूछा कि ईसा समेत WUC के बाकी लीडर्स इस महीने दलाई लामा से मिलने भारत जाने वाले हैं और भारत ने इसकी इजाजत दी है, तो इस पर हुआ ने कहा कि उन्हें इस बारे में कोई जानकारी नहीं है. बता दें कि हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में 28 अप्रैल से 1 मई तक एक कॉन्फ्रेंस होगी और ईसा को इसमें शामिल होने के लिए इनवाइट किया गया है.

Advertisement

तिब्बती धर्मगुरु दलाई लामा इस कॉन्फ्रेंस को एड्रेस कर सकते हैं. उइगर लीडर्स की दलाई से मुलाकात होने के आसार हैं. यह कॉन्फ्रेंस अमेरिका के 'सिटीजन पावर फॉर चाइना' की ओर से की जा रही है. इसके चीफ यांग जियानली हैं. जो 1989 में थियानमेन स्क्वेयर पर हुए प्रोटेस्ट में शामिल थे.

उधर, डोल्कन ईसा के वीजा के बारे में पूछने पर नई दिल्ली में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा- हमने मीडिया रिपोर्ट्स देखी है और फैक्ट्स का पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं.

कौन है डोल्कन ईसा?
म्यूनिख के रहने वाले डोल्कन ईसा को 1990 में जर्मनी ने शरण दी थी. ईसा वर्ल्ड उइगर कांग्रेस (WUC) का लीडर है. ईसा के मुताबिक भारत ने उसे इलेक्ट्रॉनिक वीजा दिया है और उसे अपने पहले भारत दौरे का बेसब्री से इंतजार है. WUC चीन से बाहर रहने वाले उइगर कम्युनिटी के लोगों का एक ग्रुप है.

ईसा पर चीन के शिंजियांग प्रोविंस में आतंकवादी घटनाओं में शामिल होने और लोगों की हत्या की साजिश रचने का आरोप है. 1997 से वह इंटरपोल की लिस्ट में है. चीन का मानना है कि उइगर लीडर्स मुस्लिम बहुल शिंजियांग प्रोविंस में आतंकवाद को बढ़ावा देते हैं. बता दें कि शिंजियांग में उइगर मुसलमानों की आबादी एक करोड़ से ज्यादा है और इन्हें तुर्किक मूल का मुस्लिम माना जाता है. कई सालों से अलग-अलग मांगों को लेकर यहां उइगर मुसलमान प्रोटेस्ट कर रहे हैं. चीन ईस्ट तुर्किस्तान इस्लामिक मूवमेंट (ETIM) को एक आतंकवादी ग्रुप मानता है. जबकि डोल्कन ईसा का कहना है- ईस्ट तुर्किस्तान और इंडिया के बहुत पुराने और अच्छे रिलेशन थे. इसीलिए उइगर लोग भारत को प्यार करते हैं.

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement