
ब्रिटेन के नए भारतवंशी प्रधानमंत्री ऋषि सुनक को अपनी ही पार्टी में विरोध का सामना करना पड़ रहा है. कंजर्वेटिव पार्टी के दर्जनों सदस्य सुनक की मकान निर्माण योजना का कड़ा विरोध कर रहे हैं. इस योजना के तहत ब्रिटिश सरकार ग्रामीण क्षेत्रों में बड़े पैमाने पर मकान निर्माण करना चाहती है. यही वजह है कि सुनक सरकार को इस अहम विधेयक को सदन में लाने से पहले ही टालना पड़ा है. इससे सुनक सरकार को ब्रिटेन के गंभीर आर्थिक संकटों से निपटने के लिए बनाई गई पॉलिसी को लागू करने में दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है.
ब्लूमबर्ग के अनुसार, ब्रिटेन में 'मकान निर्माण योजना' का विरोध कर रहे कंजर्वेटिव सदस्यों ने मंगलवार देर रात ऋषि सुनक को प्रस्ताव पर वोट कराने के लिए दबाव बनाया. पार्टी के 47 सदस्यों ने एक संशोधन पर हस्ताक्षर कर सरकार को हराने की धमकी दी. कुछ सदस्य इस योजना के विरोध में हैं जबकि कुछ सदस्य इस योजना में बदलाव चाहते हैं. टोरी सदस्य चाहते हैं कि इस योजना को लेकर स्थानीय समुदायों से बात करनी चाहिए कि घरों का निर्माण कहां किया जाए.
पहले भी होता रहा है विरोध
'मकान निर्माण योजना' को लेकर लंबे समय से पार्टी में मतभेद रहा है. विरोध कर रहे कंजर्वेटिव सदस्य ग्रामीण ब्रिटेन में अपने संसदीय क्षेत्र के स्थानीय समुदायों द्वारा योजना को लेकर हो रहे विरोध से चिंतित हैं. पूर्व प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन को भी इस योजना को लागू करने में अपनी ही पार्टी के सदस्यों से विरोध का सामना करना पड़ा था.
सुनक की ओर से बागी सदस्यों से मुकाबला करने की बजाय प्रस्ताव वापस लेना यह दर्शाता है कि कंजर्वेटिव पार्टी इस योजना के प्रस्ताव को पारित करने में असमर्थ है. जबकि यह योजना पार्टी के चुनावी घोषणापत्र की प्रमुख योजना में एक है.
दरअसल, ऋषि सुनक के पास सिर्फ 67 कामकाजी सदस्यों का बहुमत हासिल है. ऐसे में लेबर पार्टी और अन्य विपक्षी दलों ने इस टोरी दल का समर्थन किया तो सुनक को बड़ा झटका लग सकता है.
इस मुद्दे पर बागियों का जीत का दावा
बागी नेताओं में से एक थेरेसा विलियर्स ने ब्लूमबर्ग से बातचीत में कहा कि प्रस्ताव का वापस होना हमारे लिए ऐतिहासिक जीत है. टोरी सदस्यों के पूर्व सलाहकार रही सलमा शाह ने चेतावनी देते हुए कहा कि जिस समस्या का सुधार ऋषि सुनक खोज रहे हैं वह कंजर्वेटिव पार्टी के लिए एक बारहमासी समस्या है. उन्होंने कहा कि सुनक को अगला चुनाव जीतने के लिए आवास योजना लानी चाहिए. लेकिन टोरी सदस्यों को अपनी सीट को लेकर भी चिंतित होना लाजिमी है. सलमा शाह ने कहा कि इससे समझौता असंभव है.
एक सप्ताह के भीतर दूसरी बार लगा झटका
इस योजना का विरोध सुनक सरकार के लिए एक सप्ताह के अंदर दूसरा महत्वपूर्ण नीतिगत झटका है. इससे पहले भी कंजर्वेटिव सदस्यों ने बगावत की धमकी दी थी जब संडे टाइम्स ने अपनी रिपोर्ट में बताया था कि सुनक यूरोपीय यूनियन के साथ तथाकथित "स्विस-स्टाइल" ट्रेड पर बात कर रहे हैं.
हालांकि प्रधानमंत्री सुनक ने इस रिपोर्ट से इनकार कर दिया था. जबकि वरिष्ठ अधिकारियों ने इस बात की पुष्टि की थी कि राजस्व विभाग के चांसलर जेरेमी हंट यूरोपीय देश ब्रूसेल्स से संपर्क में थे. ब्रेक्जिट में शामिल होने की योजना कंजर्वेटिव पार्टी के लिए इसलिए भी खतरनाक है क्योंकि विभाजन की राजनीति से यूरोप दशकों से त्रस्त है और ब्रिटेन हमेशा से इसका विरोध करता रहा है.
घर बनाने को लेकर प्रतिबद्धः सुनक
हालांकि, प्रधानमंत्री ऋषि सुनक के प्रवक्ता मैक्स ब्लेन ने कहा कि सरकार अभी भी घर बनाने की योजना को लेकर प्रतिबद्ध है. उन्होंने कहा कि राज्य सचिव माइकल गोव और डिपार्टमेंट फॉर लेवलिंग अप तीन लाख घर बनाने को लेकर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं.
इन मुद्दों से भी घिरे रहे हैं सुनक
ऋषि सुनक और जेरेमी हंट को पिछले सप्ताह दिए उस बयान को लेकर भी आलोचना का सामना करना पर रहा है जिसमें कहा गया था कि कुछ सांसद टैक्स बढ़ने से नाखुश हैं. पूर्व कैबिनेट मंत्री एस्तर मैकवी ने पार्टी की वेबसाइट पर लिखा कि सरकार की आर्थिक योजनाएं मतदताओं को दंडित कर रही है. सुनक की पार्टी के दो युवा सांसदों ने जनता की नाराजगी और चुनावी संभावनाओं को देखते हुए घोषणा की है कि वे अगले चुनाव में संसद का चुनाव नहीं लड़ेंगे. सुनक को अपने दो वरिष्ठ नेताओं के आचरण पर उठे सवालों पर भी आलोचना का सामना करना पड़ रहा है.