
गाजा में इजरायल और हमास के बीच जंग जारी है. आईडीएफ के ताजा हमले में 33 फिलिस्तीनी मारे गए हैं. इनमें 18 लोग जबालिया के रिफ्यूजी कैंप में मारे गए हैं. इसके साथ ही बड़ी संख्या में लोग घायल बताए जा रहे हैं. इससे पहले रविवार को हुए इज़रायली हमले में 6 लोगों की मौत हो गई. इज़रायली सेना ने एक कार को निशाना बनाकर हमला किया. वहीं गाज़ा-लेबनान युद्धविराम को लेकर बेल्जियम की राजधानी ब्रसेल्स में जमकर विरोध किया गया.
इजरायली सेना हमास के लड़ाकों को खात्मे के नाम पर लगातार फिलिस्तीनियों को निशाना बना रही है. रविवार को इजरायली सेना ने एक कार को निशाना बनाकर हवाई हमला किया, जिसमें 6 फिलिस्तीनियों की मौत हो गई, जबकि कई लोग घायल हुए. इस हमले के बाद आसपास में अफरा-तफरी का माहौल नजर आया. इसके बाद आनन-फानन में घायलों और मृतकों को अल-अक्सा शहीद अस्पताल लाया गया, जहां पर मातम पसरा नजर आया.
लोग अपनों के खोने के गम में खून के आंसू रोते नजर आए. हालांकि थोड़ी देर बाद शवों को नमाज जनाजा के बाद उन्हें सुपुर्द-ए-खाक कर दिया गया. वहीं दूसरी तरफ गरीबों की मदद करने वाली संस्था ऑक्सफैन की प्रमुख ने बताया कि इस हफ्ते इज़रायली सेना ने जबालिया में उनके साथ काम करने वाले 6 वर्करों को भी मार डाला. उधर, गाज़ा और लेबनान में इजरायली सेना के हमले थम नहीं रहे, जिसके विरोध में दुनियाभर में प्रदर्शन हो रहे हैं.
रविवार को बेल्जियम की राजधानी ब्रसेल्स में जमकर इज़रायल के खिलाफ विरोध प्रदर्श किया गया. इसमें हजारों लोग शामिल हुए. हाथों में फिलिस्तीन और लेबनान का झंडा लेकर फौरन युद्धविराम और इज़रायली सैन्य अभियानों को रोकने की मांग की. पिछले साल अक्टूबर से लेकर अबतक 42 हजार 500 से ज्यादा फिलिस्तीनी मारे जा चुके हैं. इसके साथ ही 70 हजार से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं. लाखों लोग विस्थापित भी हुए हैं.
इससे पहले शनिवार को गाजा के बेत लाहिया इलाके में इजरायल ने बड़ा हमला किया था. इस हमले में कम से कम 73 फिलिस्तीनी मारे गए थे. मरने वालों में ज्यादतर महिलाएं और बच्चे थे. न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक ये हमला शनिवार देर रात बम विस्फोट के जरिए किया गया. इस हमले के बाद कई लोगों के मलबे में दबे होने की बात कही गई. हमास का कहना था कि ताज़ा हमले में भीड़भाड़ वाली जगह को निशाना बनाया गया.
फिलिस्तीनी समाचार एजेंसी वफा के अनुसार इजरायली हमलों में एक पूरा आवासीय परिसर ही नष्ट हो गया. वहीं इस हमले को लेकर इजरायल का कहना था कि वह इससे जुड़ी रिपोर्ट की जांच कर रहा है. सैकड़ों टन बारूद झेल चुके गाजा में जमीन से लेकर आसमान तक सिर्फ और सिर्फ तबाही की तस्वीरें नजर आती हैं. जंग की त्रासदी झेल रहे लोगों की जिंदगी बमबारी के बीच गुजर रही है. जान बचाने के लिए लोग इधर-उधर भाग रहे हैं.
उधर, इजरायल का कहना है कि गाजा पट्टी पर चल रही लड़ाई में 20 साल के स्टाफ सार्जेंट ऑफिर बरकोविच और 19 साल के सार्जेंट एलिशाई यंग शहीद हो गए. दोनों जवान 52वीं बटालियन के 401वीं ब्रिगेड में तैनात थे. इन दोनों की मौत के साथ सिर्फ गाजा पट्टी में अब तक इजरायल के 357 जवान शहीद हो चुके हैं. इसके बाद भी इजरायल गाजा से हमास का नामोनिशान मिटाने के लिए जमीनी अभियान पर लगातार आगे बढ़ता जा रहा है.
इस बीच अरब देशों ने आशंका जताई जा रही है कि गाजा को मिलिट्री जोन घोषित करके इजरायल नरसंहार कर सकता है. उधर, गाजा में बंधक बनाए गए इजरायली नागरिकों की रिहाई के लिए विरोध प्रदर्शन का दौर थमने का नाम नहीं ले रहा. शनिवार को एक बार फिर हजारों प्रदर्शनकारी तेल अवीव की सड़कों पर उतर आए और इजरायल की सरकार से बंधकों की रिहाई के लिए गाजा में बमबारी रोकने और हमास से तुरंत समझौते की मांग की है.