
गुस्साई भीड़ का कानून अपने हाथ में लेने का मामला सिर्फ भारत में ही नहीं बल्कि दुनिया के कई देशों में सुनने में आता रहता है. नया मामला इसलिए दिलचस्प है कि इस बार गुस्साई भीड़ का शिकार आम इंसान की जगह बेजुबान जानवर बने और लोगों ने गुस्से में आकर एक-दो नहीं 300 मगरमच्छों को मौत के घाट उतार दिया.
मामला इंडोनेशिया के सोरोंग जिले का है, जहां मगरमच्छ का शिकार बने एक व्यक्ति की मौत का बदला लेने के लिए गुस्साई भीड़ चाकूओं, हथौड़े और लाठियों के साथ मगरमच्छ फार्म पहुंच गई और उन पर ताबड़तोड़ हमला करते हुए 292 मगरमच्छों को मार डाला.
स्थानीय अधिकारियों ने बताया कि बदले की आग में मगरमच्छों को मारने की यह घटना शनिवार को पापुआ प्रांत में मारे गए शख्स के अंतिम संस्कार के बाद घटी. पुलिस और संरक्षण अधिकारियों का कहना है कि 48 साल का यह व्यक्ति अपने पशुओं के चारे के लिए घास ढूंढने गया था जब वह मगरमच्छों के एक बाड़े में गिर गया.
उन्होंने बताया कि मगरमच्छ ने मृतक सुगिटो के एक पैर को काट लिया था और एक मगरमच्छ के पिछले हिस्से से टकराकर उसकी मौत हो गई.
अधिकारियों ने बताया कि आवासीय इलाके के पास फार्म की मौजूदगी को लेकर गुस्साए सुगिटो के रिश्तेदार और स्थानीय निवासी स्थानीय पुलिस थाने पहुंचे. स्थानीय संरक्षण एजेंसी के प्रमुख बसर मनुलांग ने कहा कि उन्हें बताया गया था कि फार्म मुआवजा देने को तैयार है.
अधिकारियों ने बताया कि इससे अंसतुष्ट भीड़ चाकू, छुरा और खुरपा लेकर फार्म पहुंच गई और चार इंच लंबे बच्चों से लेकर दो मीटर तक के 292 मगरमच्छों को मार डाला.
पुलिस और संरक्षण अधिकारियों का कहना था कि वह गुस्साई भीड़ को रोक पाने में असमर्थ थी. अधिकारियों ने कहा कि वे इसकी जांच कर रहे हैं और आपराधिक आरोप भी तय किए जा सकते हैं.
इंडोनेशिया द्वीपसमूह में मगरमच्छों की कई प्रजातियों समेत विभिन्न वन्यजीव पाए जाते हैं. मगरमच्छों को संरक्षित जीव माना जाता है.