
पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (पीओके) के हालात और वहां लोगों की दयनीय स्थिति की जानकारी समय-समय पर सामने आती रही हैं. अब खबर मिली है कि पाकिस्तान सरकार ने पीओके के बजट में भारी कटौती की है.
यूनाइटेड कश्मीर पीपुल्स नेशनल पार्टी (यूकेपीएनपी) के चेयरमैन और मानवाधिकार कार्यकर्ता शौकत अली कश्मीरी ने बताया है कि पाकिस्तान सरकार ने पीओके के विकास बजट में 2.5 अरब रुपये की कटौती की है. इसके साथ ही आम बजट में सात अरब रुपये की कटौती की गई है.
उन्होंने पीओके की इस स्थिति को चिंताजनक बताया है.
पीओके के निर्वासित नेता शौकत अली ने ट्वीट कर कहा, पाकिस्तान सरकार ने पीओके के विकास के लिए बजट में 2.5 अरब रुपये और आम बजट में सात अरब रुपये की कटौती की है.
उन्होंने सिलसिलेवार ट्वीट कर कहा, पहले सरकार ने 2021-2022 के लिए 49.9 अरब रुपये के कुल बजट पर सहमति जताई थी. ताजा अपडेट से पता चला है कि बजट में भारी कटौती की गई है.
पीओके सरकार ने पाकिस्तान सरकार को कोसते हुए कहा है कि उन्होंने लाइन ऑफ कंट्रोल (एलओसी) पैकेज फंड भी फ्रीज कर दिया है.
शौकत अली कश्मीरी ने चेतावनी दी है कि स्थिति चिंताजनक हो गई है और इसे जल्द से जल्द सुलझाने की जरूरत है.
शौकत ने कहा कि दुर्भाग्य से नेता यह दावा करते रहे हैं कि पीओके में साक्षरता दर पाकिस्तान के किसी अन्य प्रांत की तुलना में अधिक है लेकिन सच्चाई अलग है. हम अभी भी पास-फेल सिस्टम के बीच में झूल रहे हैं.
उन्होंने पीओके में प्राइमरी स्कूलों की दयनीय हालत को लेकर भी चिंता जताई. इन स्कूलों में बच्चों को खुले आसमान के नीचे जमीन पर बैठकर पढ़ाई करनी पड़ती है. पीने के लिए साफ पानी या शौचालयों की कोई सुविधा नहीं है.
यूकेपीएनपी चेयरमैन ने कहा कि स्कूलों में शिक्षकों की भी भारी कमी है.
इससे पहले सोमवार को पीओके सरकार ने पाकिस्तान की शहबाज शरीफ सरकार पर विकास बजट में कटौती का आरोप लगाया था.
उन्होंने चेतावनी दी कि इससे वित्तीय प्रणाली में भारी गड़बड़ी हो सकती है.
यहां प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए पीओके के वित्त मंत्री अब्दुल माजिद खान ने कहा कि मौजूदा वित्त वर्ष में पीओके का बजट 28 अरब रुपये था लेकिन पाक सरकार ने इसमें 5.2 अरब रुपये की कटौती की. यह फैसला एकतरफा तरीके से लिया गया.
उन्होंने कहा, मौजूदा वित्त वर्ष में पाकिस्तान सरकार को हमें 49.9 अरब रुपये देने थे लेकिन इसमें 4.4 अरब रुपये की कटौती की गई.
उन्होंने कहा, इससे हमारी आय में 14 अरब रुपये की गिरावट आएगी, जिसकी भरपाई हम आय के अन्य स्रोतों से नहीं कर सकते.
पाकिस्तान सरकार से इस कदम पर दोबारा गौर करने को कहा गया है. ऐसा नहीं करने पर पीओके की वित्तीय प्रणाली के चरमराने की चेतावनी दी गई है.