Advertisement

पाकिस्तान संकटः सवाल पर भड़के इमरान खान के करीबी फवाद चौधरी, पत्रकार को कहा- किराए का टट्टू

Pakistan news: इमरान सरकार के मंत्री फवाद चौधरी की पत्रकारों के साथ तीखी झड़प हो गई. फवाद चौधरी ने न सिर्फ झगड़ा किया बल्कि हाथापाई पर उतारू हो गए.

फवाद चौधरी (File Pic) फवाद चौधरी (File Pic)
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 06 अप्रैल 2022,
  • अपडेटेड 3:27 PM IST
  • पाकिस्तान में राजनीतिक संकट पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हो रही है
  • फवाद चौधरी पत्रकारों से हाथापाई तक करते हुए नजर आए

पाकिस्तान में चल रहे राजनीतिक संकट के बीच कार्यवाहक प्रधानमंत्री इमरान खान (Imran khan) के करीबी सहयोगी फवाद चौधरी आपा खोते दिखे. सुप्रीम कोर्ट (Supreme court of Pakistan) के बाहर प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान फवाद चौधरी का पत्रकारों से झगड़ हो गया. इस झगड़े में फवाद चौधरी ने पत्रकारों को किराए का ट्टू कहकर संबोधित किया. इतना ही नहीं, पत्रकारों के सवाल पूछने पर नाराज हुए फवाद चौधरी का गुस्सा इतना बढ़ गया कि वह हाथापाई पर उतर आए.

Advertisement

दरअसल, पाकिस्तान की संसद ने विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव को खारिज कर दिया है जिसकी सुनवाई वहां के सुप्रीम कोर्ट में चल रही है. बुधवार को सुनवाई के बाद जैसे ही फवाद चौधरी बाहर निकले तो वहां पर पत्रकार पहले से ही मौजूद थे. पत्रकारों के सवालों का जवाब देने के लिए माइक पर आगे आए फवाद चौधरी से जर्नलिस्ट ने पूछा, 'अब यह साबित हो गया है कि सरकार गिराने में किसी तरह की कोई साजिश नहीं थी. इस पर अब आपको क्या कहना है?'

पहली बार फवाद चौधरी ने जर्नलिस्ट जान के इस सवाल को इग्नोर किया, लेकिन जब उन्होंने एक ही सवाल बार-बार दोहराए और बाद में कहा कि आप सवाल से क्यों भाग रहे हैं? तब फवाद चौधरी भड़क गए. फवाद का गुस्सा इतना बढ़ गया कि वह पत्रकारों पर चिल्लाने लगे और उन्हें भाड़े का ट्टू कहकर बुलाया और मारपीट भी की. देखें VIDEO...

Advertisement

 

Matiullah Jan is of the most shameless journalist. Fawad Chaudhry rightly said he is "Rent a Journalist" aka Karay Ka Tattu pic.twitter.com/lk2WVuKI9B

— Truth Media ➐ (@FactCheckAsia) April 6, 2022

सियासी संकट पर हो रही है सुनवाई
उल्लेखनीय है कि पाकिस्तान के राजनीतिक संकट को लेकर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हो रही है. पाकिस्तान के चीफ जस्टिस अता बांदयाल ने बुधवार को मामले की सुनवाई के दौरान कहा कि एमक्यूएम, तहरीक ए लब्बैक, पीटीएम, जमात ए इस्लामी को इस केस में पार्टी नहीं माना गया है.वहीं इमरान की पार्टी के वकील बाबर अवान ने कहा कि राह ए हक पार्टी और बीएपी भी संसद का तो हिस्सा हैं लेकिन केस का हिस्सा नहीं हैं. 


 

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement