
कुलभूषण जाधव मामले को लेकर अंतरराष्ट्रीय कोर्ट में मुंह की खाने के बाद पाकिस्तान में आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है. पाकिस्तान के कानूनी विशेषज्ञों में जाधव के खिलाफ देश का पक्ष सही से नहीं रखने को लेकर सरकार को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं. जानकार इस नाकामी का ठीकरा नवाज शरीफ की सरकार और विदेश विभाग के अधिकारियों पर फोड़ रहे हैं. खासकर ICJ में पाकिस्तान की पैरवी करने वाले वकील खावेर कुरैशी लोगों के निशाने पर हैं.
पाकिस्तान ने कथित भारतीय जासूस कुलभूषण जाधव मामले की छह सप्ताह के भीतर दोबारा सुनवाई की मांग को लेकर अंतरराष्ट्रीय अदालत (आईसीजे) में शुक्रवार को एक याचिका दाखिल की. पाकिस्तान के एक न्यूज ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय अदालत द्वारा गुरुवार को जाधव की फांसी पर रोक लगाने के बाद पाकिस्तान ने मामले में आईसीजे के अधिकार क्षेत्र को दोबारा चुनौती देने की पूरी तैयारी कर ली है.
पाकिस्तान की नई चाल
कानून के मुताबिक, जाधव अपीली अदालत में अपनी मौत की सजा के खिलाफ शनिवार के अंत तक अपील कर सकता है. कथित तौर पर जासूसी और आतंकवादी गतिविधियों में संलिप्तता को लेकर पाकिस्तान की एक सैन्य अदालत ने कुलभूषण जाधव को 10 अप्रैल को मौत की सजा सुनाई थी.
चैनल ने रिपोर्ट में कहा कि अपीली अदालत के फैसले के 60 दिनों के भीतर दोषी पाकिस्तान के सेना प्रमुख के समक्ष दया याचिका दाखिल कर सकता है. मौत की सजा का सामना कर रहा दोषी सेनाप्रमुख के फैसले के 90 दिनों के भीतर राष्ट्रपति के समक्ष दया की अपील कर सकता है.
वहीं आईसीजे की पीठ में शामिल भारतीय न्यायाधीश न्यायमूर्ति दलबीर भंडारी ने कहा कि पाकिस्तान ने भारत को कुलभूषण जाधव तक वाणिज्य दूतावास पहुंच नहीं मुहैया कराकर उनके बुनियादी मानवाधिकारों का उल्लंघन किया.
अब तक जाधव के बारे में सूचना नहीं
भारत को कुलभूषण जाधव मामले में अंतरराष्ट्रीय न्यायालय से भले ही राहत मिल गई हो लेकिन उनकी स्थिति को लेकर आशंकाएं अब भी बनी हुई है, क्योंकि पाकिस्तान ने उनके स्वास्थ्य या उनके स्थान के बारे में कोई सूचना नहीं दी है.
सरकारी सूत्रों के अनुसार यह मामला अंतरराष्ट्रीय न्यायालय पहुंच गया है, ऐसे में पाकिस्तान के लिए अनिवार्य है कि वह जाधव के ठिकाने और उनकी स्थिति के बारे में ठोस सबूत पेश करे. उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि पाकिस्तान इस मामले में उचित सुनवाई का सबूत पेश करे, जैसा उसने दावा किया है.
यह पूछे जाने पर कि पाकिस्तान में जाधव के पता के बारे में क्या सरकार के पास कोई सूचना है, विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गोपाल बागले ने कहा कि पाकिस्तान सरकार ने आज तक जाधव की स्थिति के बारे में कोई सूचना नहीं दी है और न ही यह बताया है कि उन्हें कहां रखा गया है, उन्होंने कहा कि यह चिंता का विषय है.
जाधव की अपील प्रक्रिया के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि दुर्भाग्य से भारत को इस विषय पर कोई सूचना नहीं है. उन्होंने कहा कि जाधव की मां की अपील के बारे में भी कोई सूचना नहीं है जो इस्लामाबाद में भारत के उच्चायुक्त ने पाकिस्तान के विदेश सचिव को सौंपी थी.
बागले ने यह भी कहा कि उपलब्ध सूचना के अनुसार पाकिस्तान ने जाधव के परिवार के वीजा अनुरोध पर कोई कार्रवाई नहीं की है. जाधव के परिवार ने उनसे मिलने के लिए पाकिस्तान जाने की खातिर वीजा का अनुरोध किया है.
अंतरराष्ट्रीय अदालत ने गुरुवार को जाधव की फांसी पर रोक लगा दी गई थी. जाधव को जासूसी के आरोप में पाकिस्तानी सैन्य अदालत ने मौत की सजा सुनाई थी.