Advertisement

Salman Rushdie Attack: सलमान रुश्दी के हमलावर के पिता ने क्यों किया खुद को कमरे में बंद?

लेखक सलमान रुश्दी पर शुक्रवार को न्यूयॉर्क में आयोजित एक कार्यक्रम में जानवेला हमला किया गया था. इस हमले को 24 साल के युवक ने अंजाम दिया. हमलावर ने रुश्दी पर चाकू से ताबड़तोड़ कई वार कर उन्हें गंभीर रूप से घायल कर दिया था. हमलावर को गिरफ्तार कर लिया गया था. अब खबर है कि हमलावर मतार के पिता ने खुद को अपने घर में कैद कर लिया है. उन्होंने इस मामले पर किसी से भी बात करने से इनकार किया है.

सलमान रुश्दी पर हमला करने वाला हमलावर हादी मतार (Photo: AP) सलमान रुश्दी पर हमला करने वाला हमलावर हादी मतार (Photo: AP)
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 15 अगस्त 2022,
  • अपडेटेड 2:22 PM IST
  • सलमान रुश्दी पर इस्लाम का अपमान करने का आरोप
  • धमकियों की वजह से कई सालों तक छिपे रहे रुश्दी

मशहूर लेखक सलमान रुश्दी (Salman Rushdie) पर हमले से पूरी दुनिया सन्न है. न्यूयॉर्क में एक कार्यक्रम के दौरान सलमान रुश्दी पर चाकुओं से ताबतोड़ कई वार किए गए थे. रुश्दी पर हमला करने वाले शख्स की पहचान हादी मतार (Hadi Matar) के रूप में हुई है. अब खबर है कि हमलावर मतार के पिता ने खुद को अपने घर में कैद कर लिया है. उन्होंने इस मामले पर किसी से भी बात करने से इनकार किया है.

Advertisement

लेबनान के यारोन के मेयर अली तहफे का कहना है कि हमलावर के पिता ने दक्षिणी लेबनान के अपने घर में खुद को कैद कर लिया है और किसी से भी बात करने से इनकार कर दिया है.

मतार (24) मूल रूप से लेबनान का है. उसका परिवार दक्षिणी लेबनान के यारोन का रहने वाला है.

रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, तहफे का कहना है कि हमलावर के माता-पिता लेबनान से आकर अमेरिका में बस गए थे. अमेरिका में ही मतार का जन्म और लालन-पालन हुआ. लेकिन उनके पिता कुछ साल पहले ही लेबनान वापस चले गए थे.

तहफे ने बताया, हमलावर के पिता अभी देश में ही हैं लेकिन उन्होंने खुद को घर में ही कैद कर लिया है और वह इस मामले पर किसी भी तरह का बयान नहीं दे रहे हैं. हमने कोशिश की, हमने उनके घर लोगों को भेजा. हम खुद भी गए और उनका दरवाजा खटखटाया लेकिन वह किसी से भी बात करने को तैयार नहीं हैं.

Advertisement

हिजबुल्ला का रुश्दी पर हमले में हाथ होने से इनकार

लेबनान के ईरान समर्थित सशस्त्र समूह हिजबुल्ला के एक अधिकारी ने कहा कि रुश्दी पर हमले को लेकर उनके पास किसी तरह की अतिरिक्त जानकारी नहीं है.

अधिकारी ने पहचान उजागर नहीं करने की शर्त पर बताया, हमें इस मामले की कोई जानकारी नहीं है इसलिए हम कोई टिप्पणी नहीं करेंगे. 

बता दें कि हिज्बुल्ला समूह को भी ईरान का समर्थन है. समूह के पिछले नेता अयातुल्ला रुहोल्ला खमैनी ने 1989 में रुश्दी के खिलाफ ईशनिंदा के आरोप में फतवा जारी किया था.

यह पूछे जाने पर कि क्या मतार या उनके माता-पिता किसी तरह से हिज्बुल्ला का समर्थन करते हैं या उनसे जुड़े हुए हैं तो इस पर तहफे ने कहा कि मतार के माता-पिता के राजनीतिक विचारों को लेकर उनके पास कोई जानकारी नहीं है.

बता दें कि भारतीय मूल के रुश्दी पर शुक्रवार को न्यूयॉर्क में एक कार्यक्रम के दौरान हमला किया गया था. हमलावर ने चाकू से उन पर लगातार कई वार किए गए थे. उन्हें गंभीर हालत में अस्पताल ले जाया गया था. 

बुकर पुरस्कार विजेता सलमान रुश्दी 'द सैटेनिक वर्सेज' लिखने के बाद विवादों में आ गए थे. 1988 में प्रकाशित इस पुस्तक को लेकर विवाद खड़ा हो गया था. 1989 में ईरान के सर्वोच्च धार्मिक नेता अयातुल्लाह खोमैनी ने इसे इस्लाम का अपमान बताकर उनके खिलाफ फतवा जारी किया था. भारत समेत कई देशों में सलमान रुश्दी की यह किताब प्रतिबंधित है.

Advertisement

खोमैनी ने सलमान रुश्दी को मारने वाले के लिए 30 लाख डॉलर के इनाम का ऐलान किया था. 

ये भी पढ़ें

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement