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Russia Ukraine war: जंग के बीच अमेरिका का बड़ा कदम, यूएन में 12 रूसी डिप्लोमेट्स को देश से निकाला

अमेरिका ने संयुक्त राष्ट्र में रूस के 12 डिप्लोमेट्स को देश से बाहर निकलने का फरमान सुना दिया है जिसे रूस की ओर से शत्रुतापूर्ण कार्रवाई बताया गया है.

अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन (फाइल फोटोः पीटीआई) अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन (फाइल फोटोः पीटीआई)
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 01 मार्च 2022,
  • अपडेटेड 7:09 AM IST
  • न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय के बाहर यूक्रेनियों का प्रदर्शन
  • जर्मनी में सड़कों पर उतरे लोग, यूक्रेन से जताई एकजुटता

यूक्रेन में तनाव चरम पर है. यूक्रेन की राजधानी कीव में रूसी सेना बमबारी कर रही है. रूस के सामने डटकर खड़े यूक्रेन ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के अध्यक्ष को संबोधित पत्र भेजा है. संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने यूक्रेन के पत्र के एजेंडे पर शाम 3 बजे से बैठक भी बुला ली है. वहीं, अब अमेरिका ने भी बड़ा कदम उठाया है.

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अमेरिका ने संयुक्त राष्ट्र में रूस के 12 डिप्लोमेट्स को देश से निकलने का आदेश दिया है. रूसी राजदूत की ओर से ये जानकारी दी गई है. रूस ने अमेरिका के इस कदम को शत्रुतापूर्ण कदम बताया है. समाचार एजेंसियों की रिपोर्ट्स के मुताबिक अमेरिका ने कहा है कि रूस के 12 डिप्लोमेट्स को 'नॉन डिप्लोमेटिक एक्टिविटीज' के कारण देश से बाहर निकलने के लिए कहा गया है. हमने रूस के 12 इंटेलिजेंस ऑपरेटिव्स को देश से निकाला है.

यूएन के बाहर यूक्रेनियों का प्रदर्शन

यूक्रेन के नागरिकों ने बड़ी तादाद में पहुंचकर न्यूयॉर्क स्थित संयुक्त राष्ट्र संघ के मुख्यालय के बाहर युद्ध के खिलाफ प्रदर्शन किए. यूक्रेनी नागरिक रूस को संयुक्त राष्ट्र संघ से बाहर निकालने की मांग कर रहे थे. जर्मनी में भी करीब ढाई लाख लोग सड़क पर उतर आए और यूक्रेन के साथ एकजुटता प्रदर्शित करते हुए रूस के खिलाफ प्रदर्शन किए. यूक्रेन की सीमा के करीब स्थित रूसी शहर रोस्टोव-ऑन-डॉन के चौक पर भी प्रदर्शन की खबरें आई थीं. हालांकि, इसकी पुष्टि नहीं हुई है.

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नए शीत युद्ध से कुछ हासिल नहीं हो सकता- चीन

यूक्रेन के साथ रूस के युद्ध के बीच चीन ने संयुक्त राष्ट्र में कहा है कि नए शीत युद्ध से कुछ हासिल नहीं हो सकता. गौरतलब है कि चीन, रूस के साथ खड़ा रहा है. चीन ने भी संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में रूस के खिलाफ प्रस्ताव पर मतदान में भाग नहीं लिया था. चीन ने भी मतदान से भारत और संयुक्त अरब अमीरात की तरह किनारा कर लिया था.

यूक्रेन ने की थी रूस को वोटिंग से वंचित करने की मांग 

यूक्रेन ने संयुक्त राष्ट्र से ये अपील की थी कि रूस को वोटिंग के अधिकार से वंचित किया जाए. बता दें कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में रूस के खिलाफ प्रस्ताव आया था. 15 में से 11 सदस्यों ने इस प्रस्ताव के पक्ष में मतदान किया था. भारत, चीन और यूएई ने वोटिंग में भाग नहीं लिया था. रूस ने इस प्रस्ताव को वीटो का इस्तेमाल कर गिरा दिया था.

 

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